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आगरा: फिर जहरीली हुई आवास विकास और दयालबाग की हवा, ये हैं प्रमुख वजह
अमर उजाला ब्यूरो, आगरा
Published by: Abhishek Saxena
Updated Fri, 04 Feb 2022 09:23 AM IST
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सार
शहर में सबसे प्रदूषित इलाका आवास विकास कॉलोनी है। इसकी प्रमुख वजह सड़कों की खोदाई के कारण उड़ती धूल है। पानी और सीवर लाइनों को बिछाने के लिए की गई खोदाई के बाद सड़कों की मरम्मत न करने से वाहनों के साथ धूल के सूक्ष्म कण उड़ रहे हैं, जो कोहरे और वाहनों के उत्सर्जन से निकली गैसों के साथ स्मॉग में बदल रहे हैं।

आगरा में छाई धुंध
- फोटो : अमर उजाला

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विस्तार
ताजनगरी में बृहस्पतिवार को मौसम बदला और बादल छाए तो हवा की गुणवत्ता भी खराब हो गई। आवास विकास कॉलोनी और दयालबाग में हवा जहरीली रही। यहां एक्यूआई 261 और 258 दर्ज किया गया। ताजमहल के आसपास के क्षेत्र को छोड़कर बाकी शहर की हालत भी खराब रही। यहां 200 से अधिक एक्यूआई दर्ज किया गया। पूरे दिन स्मॉग की चादर शहर पर छाई रही और प्रदूषण के कारण आंखों में जलन महसूस होती रही।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के मुताबिक ताजनगरी में हवा की सबसे खराब गुणवत्ता आवास विकास कॉलोनी के सेक्टर 3 के आसपास रही। हराभरा क्षेत्र माने जाने वाले दयालबाग के पास मनोहरपुर में भी हवा की गुणवत्ता व्यावसायिक क्षेत्र संजय प्लेस के मुकाबले खराब रही, जबकि शहर में सबसे अच्छी हवा ताजमहल के पास शाहजहां पार्क की रही। शहर के प्रदूषित क्षेत्रों में खतरनाक सूक्ष्म कणों पीएम 2.5 कणों की मात्रा सामान्य से 7 गुना तक और कार्बन मोनोऑक्साइड की मात्रा 12 गुना तक ज्यादा रही।
शहर की हवा
क्षेत्र एक्यूआई
सेक्टर-3 261
मनोहरपुर 258
संजय प्लेस 203
रोहता 212
शास्त्रीपुरम 202
शाहजहां पार्क 121
शाम चार बजे के बाद ज्यादा खराब हुई हवा
रात 10 बजे, शाम चार बजे और रात आठ बजे बेहद सूक्ष्म कणों पर्टिकुलेट मैटर की मात्रा 300 के स्तर को पार कर गई। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के मुताबिक 300 के पार एक्यूआई खराब माना जाता है, जिसमें फेफड़ों और अस्थमा के रोगियों के साथ आम लोगों को भी सांस लेने में दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।
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केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के मुताबिक ताजनगरी में हवा की सबसे खराब गुणवत्ता आवास विकास कॉलोनी के सेक्टर 3 के आसपास रही। हराभरा क्षेत्र माने जाने वाले दयालबाग के पास मनोहरपुर में भी हवा की गुणवत्ता व्यावसायिक क्षेत्र संजय प्लेस के मुकाबले खराब रही, जबकि शहर में सबसे अच्छी हवा ताजमहल के पास शाहजहां पार्क की रही। शहर के प्रदूषित क्षेत्रों में खतरनाक सूक्ष्म कणों पीएम 2.5 कणों की मात्रा सामान्य से 7 गुना तक और कार्बन मोनोऑक्साइड की मात्रा 12 गुना तक ज्यादा रही।
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शहर की हवा
क्षेत्र एक्यूआई
सेक्टर-3 261
मनोहरपुर 258
संजय प्लेस 203
रोहता 212
शास्त्रीपुरम 202
शाहजहां पार्क 121
शाम चार बजे के बाद ज्यादा खराब हुई हवा
रात 10 बजे, शाम चार बजे और रात आठ बजे बेहद सूक्ष्म कणों पर्टिकुलेट मैटर की मात्रा 300 के स्तर को पार कर गई। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के मुताबिक 300 के पार एक्यूआई खराब माना जाता है, जिसमें फेफड़ों और अस्थमा के रोगियों के साथ आम लोगों को भी सांस लेने में दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।

आगरा में शुक्रवार की सुबह छाई रही धुंध
- फोटो : अमर उजाला
ये हैं प्रमुख वजह
सड़कों की खोदाई से उड़ी धूल
शहर में सबसे प्रदूषित इलाका आवास विकास कॉलोनी है। इसकी प्रमुख वजह सड़कों की खोदाई के कारण उड़ती धूल है। पानी और सीवर लाइनों को बिछाने के लिए की गई खोदाई के बाद सड़कों की मरम्मत न करने से वाहनों के साथ धूल के सूक्ष्म कण उड़ रहे हैं, जो कोहरे और वाहनों के उत्सर्जन से निकली गैसों के साथ स्मॉग में बदल रहे हैं।
कचरे को जलाना
पर्यावरण मामलों में एनजीटी में याचिकाकर्ता डॉ. शरद गुप्ता के मुताबिक ताजमहल के पास शाहजहां पार्क में एयर क्वालिटी इंडेक्स 121 है, जबकि बाकी शहर में खराब स्थिति में गुणवत्ता दर्ज हुई। शहर में कचरे का निस्तारण ठीक नहीं है। लगातार कचरा जलाया जा रहा है। हर दिन कूड़ा उठाने की जगह रात में कचरे में आग लगा दी जा रही है। नगर निगम ने आग के किसी भी मामले में जुर्माना या कोई दंडनीय कार्रवाई नहीं की है। आवास विकास समेत शहर के इलाकों में कचरा जलाए जाने से काला धुआं निकल रहा है जो आसपास के एक किमी के दायरे में लोगों को सांस लेने में मुश्किलें खड़ी कर रहा है।
जाम के कारण वाहनों से बढ़ा प्रदूषण
टीटीजेड अथॉरिटी सदस्य केशो मेहरा के मुताबिक मदिया कटरा, आईएसबीटी, बोदला रोड, दहतोरा मोड़ पर खोदी पड़ी सड़कों और निर्माण कार्यों के कारण जाम लग रहा है। जाम के दौरान चालू इंजन और धीमे-धीमे चलते वाहनों से प्रदूषण बढ़ रहा है। फतेहाबाद रोड पर मेट्रो कार्य और यमुना किनारा रोड पर टूटी सड़कों के कारण वाहनों का जाम रोज की बात है। सर्दी बढ़ने पर दो पहिया की जगह चार पहिया वाहनों की संख्या सड़कों पर बढ़ी है, जिससे जाम के हालात और बिगड़ रहे हैं।
सड़कों की खोदाई से उड़ी धूल
शहर में सबसे प्रदूषित इलाका आवास विकास कॉलोनी है। इसकी प्रमुख वजह सड़कों की खोदाई के कारण उड़ती धूल है। पानी और सीवर लाइनों को बिछाने के लिए की गई खोदाई के बाद सड़कों की मरम्मत न करने से वाहनों के साथ धूल के सूक्ष्म कण उड़ रहे हैं, जो कोहरे और वाहनों के उत्सर्जन से निकली गैसों के साथ स्मॉग में बदल रहे हैं।
कचरे को जलाना
पर्यावरण मामलों में एनजीटी में याचिकाकर्ता डॉ. शरद गुप्ता के मुताबिक ताजमहल के पास शाहजहां पार्क में एयर क्वालिटी इंडेक्स 121 है, जबकि बाकी शहर में खराब स्थिति में गुणवत्ता दर्ज हुई। शहर में कचरे का निस्तारण ठीक नहीं है। लगातार कचरा जलाया जा रहा है। हर दिन कूड़ा उठाने की जगह रात में कचरे में आग लगा दी जा रही है। नगर निगम ने आग के किसी भी मामले में जुर्माना या कोई दंडनीय कार्रवाई नहीं की है। आवास विकास समेत शहर के इलाकों में कचरा जलाए जाने से काला धुआं निकल रहा है जो आसपास के एक किमी के दायरे में लोगों को सांस लेने में मुश्किलें खड़ी कर रहा है।
जाम के कारण वाहनों से बढ़ा प्रदूषण
टीटीजेड अथॉरिटी सदस्य केशो मेहरा के मुताबिक मदिया कटरा, आईएसबीटी, बोदला रोड, दहतोरा मोड़ पर खोदी पड़ी सड़कों और निर्माण कार्यों के कारण जाम लग रहा है। जाम के दौरान चालू इंजन और धीमे-धीमे चलते वाहनों से प्रदूषण बढ़ रहा है। फतेहाबाद रोड पर मेट्रो कार्य और यमुना किनारा रोड पर टूटी सड़कों के कारण वाहनों का जाम रोज की बात है। सर्दी बढ़ने पर दो पहिया की जगह चार पहिया वाहनों की संख्या सड़कों पर बढ़ी है, जिससे जाम के हालात और बिगड़ रहे हैं।