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    Raebareli News: बारिश के साथ सर्दी की दस्तक, किसानों की आफत
 
            	    संवाद न्यूज एजेंसी, रायबरेली             
                        
       Updated Fri, 31 Oct 2025 02:00 AM IST
        
       
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                        बारिश में गिरी फसल को बांधते किसान।
                                
    
        
    
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                रायबरेली। जिले भर में बृहस्पतिवार को चक्रवाती तूफान मोंथा का असर दिखा और दिनभर रुक-रुक कर बारिश होती रही। बृहस्पतिवार को तेज हवाओं के साथ सर्दी ने दस्तक दी और जिलेवासियों को जाड़े का अहसास हुआ। लोगों को अलमारी से गर्म पकड़े तक निकालने पड़ गए। 
                                
                
                
                 
                    
                                                                                                        
                                                
                        
                        
 
                        
                                                                                      
                   
    
                                                                        
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                                                
                                                                
                                 
                
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
बदलते मौसम से सबसे बड़ी आफत किसानों पर आई। धान की फसल भीग गई है और कटाई व मड़ाई का काम ठप हो गया है। जिन खेतों में फसल खड़ी थी वह हवा तेज चलने और बारिश के कारण गिर गई। किसान फसल के नुकसान से चिंतित हैैं। जिले में 1.80 लाख हेक्टेयर में धान की फसल खड़ी है। इस समय 50 फीसदी फसल की कटाई हो सकी है। 50 फीसदी फसल बारिश और हवा की मार से खेतों में पड़ी है।    
             
                                                    
                                 
                                
                               
                                                                
                                                 
                
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
बृहस्पतिवार सुबह से मौसम खराब रहा। सुबह छह बजे से रिमझिम फुहार पड़ती रहीं और उसकेे बाद रुक रुककर बारिश का सिलसिला जारी रहा। लोगों को इस कारण दैनिक कामकाज में दिक्कत का सामना करना पड़ा। स्कूली बच्चों को भीगते हुए स्कूल से घर वापस लौटना पड़ा। बारिश के कारण यातायात की रफ्तार भी धीमी रही। दिन भर आसमान में बादल छाए रहे और वाहन सवारों को हेडलाइट जलाकर चलना पड़ा।
                                
                
                
                                
                
                                                                                     
            
                            
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
बारिश बंद होने का लोग इंतजार करते रहे, लेकिन बारिश होती रही। बारिश से गड्ढायुक्त सड़कों पर पानी भर गया। ग्रामीण अंचलों में भी जलभराव से लोग परेशान हुए।
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                                                                
                                
                 
                                
                               
                                
                                                 
                
धान के काला पड़ने और आलू के सड़ने की आशंका
सरेटी। बेमौसम बारिश ने किसानों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। धान और रबी की फसलें इस बारिश से काफी प्रभावित हुई हैं। क्षेत्र में हो रही बारिश से धान की फसलें भीगकर खराब हो रही हैं। सरेनी किसान सज्जन का कहना है कि उनकी फसल पककर तैयार थी और कटाई शुरू हो गई थी, खेतों में कटी पड़ी फसल की बालियां काली पड़ रही हैं।
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
शीतल खेड़ा के किसान रजनीश सिंह व लक्ष्मी सिंह ने बताया कि जिन किसानों ने आलू की बुवाई कर दी है। उनके भी सड़ने की आशंका है। इसी तरह सतांव में बारिश से धान की फसलें भीगकर खराब हो रही हैं। सतांव के किसान लाला गुप्ता का कहना है कि उनकी फसल पककर तैयार थी और कटाई शुरू हो गई थी। खेतों में कटी पड़ी फसल की बालियां काली पड़ रही हैं।
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
खेतों में भर गया बारिश का पानी
हलोर। क्षेत्र के पुरासी, अलीपुर, जमुरावां, हिलहा, बारी गोहन्ना, बसकटा, बेलवा, मझिगवां में हवा के साथ हुई बारिश ने किसानों के लिए समस्या खड़ी कर दी है। किसान गंगासागर पांडेय, रामसागर चौधरी, अमर सिंह वर्मा, श्रवण चौधरी ने बताया कि खेतों में धान की फसल खड़ी है। खेत में बरसात का पानी भर जाने व हवा से खड़ी फसल गिर जाने से काफी नुकसान हुआ है।
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
यदि किसी ग्राम पंचायत में जलप्लावन की स्थिति आती है या 50 फीसदी से अधिक फसल का नुकसान होता है तो सर्वेे कराया जाएगा। बारिश और तेज हवा से धान की फसल खेतों में बिछ गई है। ऐसे में किसान खेतों में पानी न रुकने दें और फसल के बिछे हुए हिस्से को काटकर दूसरी ऊंची जगह पर लगा दें। बीमित किसानों को 72 घंटे के भीतर नुकसान केे बारे में टोल फ्री नंबर जानकारी देनी होगी।
- अखिलेश पांडेय, जिला कृषि अधिकारी
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
बारिश के बीच पारा भी लुढ़का
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                
बारिश के कारण तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई है। बृहस्पतिवार को अधिकतम तापमान 29 डिग्री और न्यूनतम तापमान 19 डिग्री रहा। साथ ही 20 एमएम बारिश दर्ज की गई। इंदिरा गांधी उड़ान अकादमी फुरसतगंज के मौसम विशेषज्ञ दीतेंद्र सिंह ने बताया कि मोंथा चक्रवात का असर प्रदेश में भी है। इस कारण मौसम बदला है। हवा का दबाव अधिक होने से बारिश होने के साथ तेज हवा चल रही है। अगले 24 घंटे में तापमान में गिरावट दर्ज की जाएगी।
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                                 
                 
                                
                                
                
                
                                
                
                                                                                        
                                 
                                
                               
                                
                                
                                
                
                                                                
                               
                                                        
         
बदलते मौसम से सबसे बड़ी आफत किसानों पर आई। धान की फसल भीग गई है और कटाई व मड़ाई का काम ठप हो गया है। जिन खेतों में फसल खड़ी थी वह हवा तेज चलने और बारिश के कारण गिर गई। किसान फसल के नुकसान से चिंतित हैैं। जिले में 1.80 लाख हेक्टेयर में धान की फसल खड़ी है। इस समय 50 फीसदी फसल की कटाई हो सकी है। 50 फीसदी फसल बारिश और हवा की मार से खेतों में पड़ी है।
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            बृहस्पतिवार सुबह से मौसम खराब रहा। सुबह छह बजे से रिमझिम फुहार पड़ती रहीं और उसकेे बाद रुक रुककर बारिश का सिलसिला जारी रहा। लोगों को इस कारण दैनिक कामकाज में दिक्कत का सामना करना पड़ा। स्कूली बच्चों को भीगते हुए स्कूल से घर वापस लौटना पड़ा। बारिश के कारण यातायात की रफ्तार भी धीमी रही। दिन भर आसमान में बादल छाए रहे और वाहन सवारों को हेडलाइट जलाकर चलना पड़ा।
बारिश बंद होने का लोग इंतजार करते रहे, लेकिन बारिश होती रही। बारिश से गड्ढायुक्त सड़कों पर पानी भर गया। ग्रामीण अंचलों में भी जलभराव से लोग परेशान हुए।
धान के काला पड़ने और आलू के सड़ने की आशंका
सरेटी। बेमौसम बारिश ने किसानों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। धान और रबी की फसलें इस बारिश से काफी प्रभावित हुई हैं। क्षेत्र में हो रही बारिश से धान की फसलें भीगकर खराब हो रही हैं। सरेनी किसान सज्जन का कहना है कि उनकी फसल पककर तैयार थी और कटाई शुरू हो गई थी, खेतों में कटी पड़ी फसल की बालियां काली पड़ रही हैं।
शीतल खेड़ा के किसान रजनीश सिंह व लक्ष्मी सिंह ने बताया कि जिन किसानों ने आलू की बुवाई कर दी है। उनके भी सड़ने की आशंका है। इसी तरह सतांव में बारिश से धान की फसलें भीगकर खराब हो रही हैं। सतांव के किसान लाला गुप्ता का कहना है कि उनकी फसल पककर तैयार थी और कटाई शुरू हो गई थी। खेतों में कटी पड़ी फसल की बालियां काली पड़ रही हैं।
खेतों में भर गया बारिश का पानी
हलोर। क्षेत्र के पुरासी, अलीपुर, जमुरावां, हिलहा, बारी गोहन्ना, बसकटा, बेलवा, मझिगवां में हवा के साथ हुई बारिश ने किसानों के लिए समस्या खड़ी कर दी है। किसान गंगासागर पांडेय, रामसागर चौधरी, अमर सिंह वर्मा, श्रवण चौधरी ने बताया कि खेतों में धान की फसल खड़ी है। खेत में बरसात का पानी भर जाने व हवा से खड़ी फसल गिर जाने से काफी नुकसान हुआ है।
यदि किसी ग्राम पंचायत में जलप्लावन की स्थिति आती है या 50 फीसदी से अधिक फसल का नुकसान होता है तो सर्वेे कराया जाएगा। बारिश और तेज हवा से धान की फसल खेतों में बिछ गई है। ऐसे में किसान खेतों में पानी न रुकने दें और फसल के बिछे हुए हिस्से को काटकर दूसरी ऊंची जगह पर लगा दें। बीमित किसानों को 72 घंटे के भीतर नुकसान केे बारे में टोल फ्री नंबर जानकारी देनी होगी।
- अखिलेश पांडेय, जिला कृषि अधिकारी
बारिश के बीच पारा भी लुढ़का
बारिश के कारण तापमान में भी गिरावट दर्ज की गई है। बृहस्पतिवार को अधिकतम तापमान 29 डिग्री और न्यूनतम तापमान 19 डिग्री रहा। साथ ही 20 एमएम बारिश दर्ज की गई। इंदिरा गांधी उड़ान अकादमी फुरसतगंज के मौसम विशेषज्ञ दीतेंद्र सिंह ने बताया कि मोंथा चक्रवात का असर प्रदेश में भी है। इस कारण मौसम बदला है। हवा का दबाव अधिक होने से बारिश होने के साथ तेज हवा चल रही है। अगले 24 घंटे में तापमान में गिरावट दर्ज की जाएगी।