{"_id":"68f92bba1f48a8fb1205e3cc","slug":"thana-bhawan-and-oon-sugar-mills-owe-rs-97-crore-to-farmers-shamli-news-c-26-1-sal1002-152054-2025-10-23","type":"story","status":"publish","title_hn":"Shamli News: थानाभवन और ऊन शुगर मिल पर किसानों का 97 करोड़ रुपये बकाया","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
Shamli News: थानाभवन और ऊन शुगर मिल पर किसानों का 97 करोड़ रुपये बकाया
विज्ञापन

विज्ञापन
ऊन/थानाभवन। भले ही शामली चीनी मिल ने किसानों का पिछले वर्ष का 29 करोड़ रुपये का बकाया भुगतान कर दिया हो, लेकिन ऊन और थानाभवन की चीनी मिलों पर अभी भी किसानों का कुल 97 करोड़ रुपये से अधिक बकाया है।
ऊन शुगर मिल पर 25 करोड़ रुपये, जबकि थानाभवन मिल पर 72 करोड़ रुपये का गन्ना मूल्य भुगतान बाकी है। किसानों का आरोप है कि बार-बार आश्वासन के बावजूद भुगतान नहीं किया जा रहा है, जिससे उन्हें भारी आर्थिक संकट का सामना करना पड़ रहा है।
-ऊन मिल, 25 करोड़ बकाया, जल्द भुगतान का दावा
ऊन शुगर मिल के वरिष्ठ महाप्रबंधक (गन्ना) कुलदीप पिलानिया ने बताया कि मिल पर करीब 25 रुपये करोड़ का बकाया गन्ना मूल्य भुगतान शेष है। उन्होंने कहा कि भुगतान प्रक्रिया जारी है। अगले एक-दो दिन में कुछ राशि किसानों को दी जाएगी। शेष भुगतान भी शीघ्र ही पूरा कर दिया जाएगा। मिल का पेराई सत्र नवंबर के प्रथम सप्ताह से प्रारंभ होगा। किसानों की व्यथा, बिल का ब्याज सरकार लेती है, हमें ब्याज कौन देगा।
ऊन के किसान सोम चौधरी ने कहा कि लगभग दो लाख रुपये का गन्ना भुगतान बकाया है। बिजली का बिल लेट होने पर सरकार ब्याज लेती है, लेकिन हमें भुगतान में देरी पर कोई ब्याज नहीं मिलता। दीपावली पर भी वादा किया गया था कि भुगतान होगा, पर अभी तक कुछ नहीं मिला। गांव ढिढ़ाली के किसान रवि सिरोही ने बताया कि उनका करीब एक लाख रुपये से अधिक का भुगतान अटका हुआ है। भुगतान में देरी से बच्चों की फीस, दवाइयों और घरेलू खर्च पूरे करना मुश्किल हो जाता है।
-धरने और समझौते के बाद भी नहीं मिला पूरा भुगतान
थानाभवन शुगर मिल पर किसानों का लगभग 72 रुपये करोड़ बकाया है। नया पेराई सत्र 30 अक्टूबर या 2 नवम्बर से शुरू होने की संभावना है, लेकिन किसानों के पुराने भुगतान अब तक निपटाए नहीं गए। किसान संघर्ष समिति के नेतृत्व में किसानों ने कुछ माह पूर्व मिल गेट पर एक माह तक धरना प्रदर्शन किया था। उपजिलाधिकारी की मध्यस्थता में हुए समझौते के बाद प्रदर्शन समाप्त हुआ, लेकिन किसानों का आरोप है कि समझौते के बावजूद मिल प्रशासन ने पूरा भुगतान नहीं किया। थानाभवन मिल के गन्ना महाप्रबंधक लेखराज सिंह ने बताया कि मिल प्रारंभ होने से पूर्व 12 से 14 करोड़ रुपये का और भुगतान कर दिया जाएगा। इसके बाद भी लगभग 58 से 60 करोड़ रुपये का बकाया रहेगा।
-त्योहार और बच्चों की पढ़ाई भगवान भरोसे
थानाभवन निवासी लवी राणा ने कहा कि बेटे-बेटियों की पढ़ाई, शादी-ब्याह, त्योहार सब भगवान भरोसे चल रहे हैं। नया सत्र शुरू होने से पहले पुराने बकाये का निपटान होना चाहिए। भैसानी गांव के किसान गुलफाम ने कहा, मिल पर बकाया भुगतान के कारण परिवार आर्थिक संकट से गुजर रहा है। खेतों का खर्च, बिजली बिल, बच्चों की पढ़ाई सब प्रभावित है। वहीं किसान राव मेहरबान ने कहा कि धरना-प्रदर्शन करने के बाद भी भुगतान में देरी की जा रही है। छोटे किसानों की हालत बेहद खराब है, परिवार जैसे-तैसे चल रहे हैं।” किसानों की मांग है, नया सत्र शुरू होने से पहले पूरा भुगतान किया जाए। किसानों ने शासन-प्रशासन से मांग की है कि ऊन और थानाभवन मिलों पर बकाया गन्ना भुगतान नए पेराई सत्र शुरू होने से पहले पूरा किया जाए ताकि किसान आर्थिक रूप से राहत पा सकें।

Trending Videos
ऊन शुगर मिल पर 25 करोड़ रुपये, जबकि थानाभवन मिल पर 72 करोड़ रुपये का गन्ना मूल्य भुगतान बाकी है। किसानों का आरोप है कि बार-बार आश्वासन के बावजूद भुगतान नहीं किया जा रहा है, जिससे उन्हें भारी आर्थिक संकट का सामना करना पड़ रहा है।
विज्ञापन
विज्ञापन
-ऊन मिल, 25 करोड़ बकाया, जल्द भुगतान का दावा
ऊन शुगर मिल के वरिष्ठ महाप्रबंधक (गन्ना) कुलदीप पिलानिया ने बताया कि मिल पर करीब 25 रुपये करोड़ का बकाया गन्ना मूल्य भुगतान शेष है। उन्होंने कहा कि भुगतान प्रक्रिया जारी है। अगले एक-दो दिन में कुछ राशि किसानों को दी जाएगी। शेष भुगतान भी शीघ्र ही पूरा कर दिया जाएगा। मिल का पेराई सत्र नवंबर के प्रथम सप्ताह से प्रारंभ होगा। किसानों की व्यथा, बिल का ब्याज सरकार लेती है, हमें ब्याज कौन देगा।
ऊन के किसान सोम चौधरी ने कहा कि लगभग दो लाख रुपये का गन्ना भुगतान बकाया है। बिजली का बिल लेट होने पर सरकार ब्याज लेती है, लेकिन हमें भुगतान में देरी पर कोई ब्याज नहीं मिलता। दीपावली पर भी वादा किया गया था कि भुगतान होगा, पर अभी तक कुछ नहीं मिला। गांव ढिढ़ाली के किसान रवि सिरोही ने बताया कि उनका करीब एक लाख रुपये से अधिक का भुगतान अटका हुआ है। भुगतान में देरी से बच्चों की फीस, दवाइयों और घरेलू खर्च पूरे करना मुश्किल हो जाता है।
-धरने और समझौते के बाद भी नहीं मिला पूरा भुगतान
थानाभवन शुगर मिल पर किसानों का लगभग 72 रुपये करोड़ बकाया है। नया पेराई सत्र 30 अक्टूबर या 2 नवम्बर से शुरू होने की संभावना है, लेकिन किसानों के पुराने भुगतान अब तक निपटाए नहीं गए। किसान संघर्ष समिति के नेतृत्व में किसानों ने कुछ माह पूर्व मिल गेट पर एक माह तक धरना प्रदर्शन किया था। उपजिलाधिकारी की मध्यस्थता में हुए समझौते के बाद प्रदर्शन समाप्त हुआ, लेकिन किसानों का आरोप है कि समझौते के बावजूद मिल प्रशासन ने पूरा भुगतान नहीं किया। थानाभवन मिल के गन्ना महाप्रबंधक लेखराज सिंह ने बताया कि मिल प्रारंभ होने से पूर्व 12 से 14 करोड़ रुपये का और भुगतान कर दिया जाएगा। इसके बाद भी लगभग 58 से 60 करोड़ रुपये का बकाया रहेगा।
-त्योहार और बच्चों की पढ़ाई भगवान भरोसे
थानाभवन निवासी लवी राणा ने कहा कि बेटे-बेटियों की पढ़ाई, शादी-ब्याह, त्योहार सब भगवान भरोसे चल रहे हैं। नया सत्र शुरू होने से पहले पुराने बकाये का निपटान होना चाहिए। भैसानी गांव के किसान गुलफाम ने कहा, मिल पर बकाया भुगतान के कारण परिवार आर्थिक संकट से गुजर रहा है। खेतों का खर्च, बिजली बिल, बच्चों की पढ़ाई सब प्रभावित है। वहीं किसान राव मेहरबान ने कहा कि धरना-प्रदर्शन करने के बाद भी भुगतान में देरी की जा रही है। छोटे किसानों की हालत बेहद खराब है, परिवार जैसे-तैसे चल रहे हैं।” किसानों की मांग है, नया सत्र शुरू होने से पहले पूरा भुगतान किया जाए। किसानों ने शासन-प्रशासन से मांग की है कि ऊन और थानाभवन मिलों पर बकाया गन्ना भुगतान नए पेराई सत्र शुरू होने से पहले पूरा किया जाए ताकि किसान आर्थिक रूप से राहत पा सकें।