अलवर जिले में साइबर अपराधों के खिलाफ चल रहे ‘ऑपरेशन साइबर संग्राम’ अभियान के तहत अलवर पुलिस को बड़ी सफलता मिली है। पिछले एक माह में पुलिस ने साइबर ठगी के मामलों में पीड़ितों को 1 करोड़ 14 लाख 63 हजार 517 रुपये की राशि वापस दिलाई, जबकि 8 करोड़ 23 लाख 43 हजार 774 रुपये की ठगी की रकम को समय रहते होल्ड कर लिया गया। यह कार्रवाई अपराधियों तक पैसा पहुंचने से पहले की गई, जिससे बड़ी वित्तीय हानि होने से बच गई।
साइबर क्राइम रेस्पॉन्स सेल की त्वरित कार्रवाई से ठगी पर लगा ब्रेक
अलवर पुलिस की साइबर क्राइम रेस्पॉन्स सेल ने बैंकिंग चैनल्स और तकनीकी साधनों की मदद से ठगी से जुड़े खातों को फ्रीज करवाया। एडिशनल एसपी (IPS) शरण काम्बले ने बताया कि पुलिस टीम ने शिकायत मिलते ही त्वरित और समन्वित कार्रवाई करते हुए पीड़ितों की रकम सुरक्षित कराई। उन्होंने कहा कि मार्च 2023 से अब तक करीब 11 करोड़ रुपये की राशि को सुरक्षित कर पीड़ितों तक पहुंचाया गया है, जो जिले के लिए एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है।
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साइबर सुरक्षा के प्रति जागरूकता का संदेश
पुलिस अधीक्षक ने लोगों से अपील की है कि वे ऑनलाइन ठगी से बचने के लिए सतर्क रहें। उन्होंने कहा कि कोई भी व्यक्ति OTP, UPI PIN या बैंकिंग जानकारी किसी से साझा न करें। किसी प्रकार के इनाम, गिफ्ट, निवेश या लोन के नाम पर मिले लिंक पर भरोसा न करें और KYC या प्रोफाइल अपडेट के बहाने भेजे गए लिंक को न खोलें। सोशल मीडिया के माध्यम से की जाने वाली फर्जी स्कीमों और ठगी के प्रयासों से सावधान रहने की भी सलाह दी गई।
ठगी का शिकार होने पर तुरंत करें संपर्क
पुलिस ने बताया कि यदि कोई व्यक्ति साइबर ठगी का शिकार होता है, तो तुरंत टोल फ्री नंबर 1930, वेबसाइट cybercrime.gov.in, या नजदीकी पुलिस थाने पर संपर्क करें। इसके अलावा अलवर साइबर सेल के हेल्पलाइन नंबर पर सूचना देकर भी नुकसान को रोका जा सकता है।
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