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कोडीन सिरप कांड: एक और हैरान करने वाला खुलासा, लखनऊ की फर्म से भी हुई तस्करी; कई शहरों में बेची गई मौत की दवा

अमर उजाला ब्यूरो, लखनऊ Published by: भूपेन्द्र सिंह Updated Sun, 21 Dec 2025 11:00 AM IST
सार

Codeine Syrup Smuggling Case : कोडीन सिरप कांड में एक और हैरान करने वाला खुलासा हुआ है। लखनऊ की फर्म से भी तस्करी की गई थी। कई शहरों में यह मौत की दवा बेची गई। औषधि निरीक्षक ने इंदिरानगर थाने में कान्हा फार्मास्युटिकल्स के संचालक पर एफआईआर दर्ज कराई है।

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Cough Syrup Smuggling Case: Codeine Syrup Smuggled From Lucknow Firm, Drug Inspector Filed FIR
कफ सिरप कांड। - फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
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उत्तर प्रदेश में नशीले कफ सिरप की तस्करी को लेकर राजनीति भी गर्म है। अलग-अलग जिलों के बाद लखनऊ की एक और फर्म का नाम तस्करी में सामने आया है। औषधि निरीक्षक विवेक कुमार सिंह ने इंदिरानगर थाने में मेसर्स कान्हा फार्मास्युटिकल्स के संचालक आरुष सक्सेना के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है। आरोप है कि नशे के लिए कफ सिरप की सप्लाई अलग-अलग शहरों में की गई थी।

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एफआईआर के मुताबिक, साजिश के तहत लाभ कमाने के लिए कफ सिरप को नियम के विपरित बेचा गया। औषधि विभाग ने 11 व 12 अक्तूबर को मेसर्स आर्षिक फार्मास्युटिकल्स प्रा. लि. और मेसर्स इधिका लाइफसाइन्सेज फर्म की जांच की थी। इस दौरान पता चला कि तकरोही मेसर्स कान्हा फार्मास्युटिकल्स फर्म की ओर से कोडिनयुक्त 11,783 शीशी सिरप एक अप्रैल 2024 से 31 अक्तूबर 2024 के बीच क्रय किया गया था। 

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उच्चाधिकारियों के निर्देश पर रायबरेली के औषधि निरीक्षक शिवेंद्र प्रताप सिंह ने जांच के बाद बताया कि फर्म मेसर्स अजय फार्मा, कल्लू का पुरवा, रतापुर, रायबरेली ने भी मेसर्स कान्हा फार्मास्युटिकल्स को बड़ी मात्रा में सिरप की सप्लाई की है। यह भी बताया गया कि मेसर्स अजय फार्मा की ओर से मेसर्स बायोहब लाइफसाइंसेज, ट्रान्सपोर्ट नगर से खरीदी गई सिरप की भी बिक्री की गई थी।

कई बार बुलाने पर नहीं आया संचालक

औषधि प्रशासन का कहना है कि फर्म के संचालक आरुष सक्सेना को पत्र भेजकर कई बार दस्तावेज के साथ बुलाया गया, लेकिन वह नहीं आया। पोर्टल पर अंकित पते के आधार पर टीम आरोपी के फर्म पर पहुंची तो वहां जनरल स्टोर की दुकान मिली। पूछताछ करने पर पता चला कि दुकान के मालिक मोहम्मद अहसान हैं, जो दुबई में रहते हैं। 

आरुष सक्सेना ने चार-पांच माह पहले ही दुकान को खाली कर दिया था। पोर्टल पर उपलब्ध मोबाइल नंबर पर संपर्क करने पर आरुष सक्सेना से बात नहीं हो सकी। इसकी वजह से आरोपी के क्रय विक्रय का सत्यापन नहीं हो सका। विभाग की ओर से आरोपी को नोटिस भेजी, जिसका जवाब भी आरुष ने नहीं दिया।

कई जिलों से खरीदारी कर महंगे दाम में बेची

कानपुर नगर के औषधि निरीक्षक ओमपाल सिंह की ओर से विभाग को बताया गया कि आरोपी ने मेसर्स मेडिसीना हेल्थकेयर, कोपरगंज, कानपुर से भी बड़ी मात्रा में सिरप की खरीदारी की थी। कम दाम में सिरप खरीदकर आरोपी उसे नशे के लिए महंगे दामों में बेचता था। 

आरोपी ने कानपुर की ही दूसरी फर्म मेसर्स अग्रवाल ब्रदर्स, बिरहाना रोड से भी कफ सिरप खरीदे थे। आरोप है कि आरुष जांच में सहयोग नहीं कर रहा है। इंस्पेक्टर इंदिरानगर का कहना है कि तहरीर के आधार पर केस दर्ज किया गया है। आरोपी के बारे में पता लगाया जा रहा है।

बढ़ाई जाएगी एनडीपीएस की धारा

नशीले कफ सिरप के मामले में सुशांत गोल्फ सिटी थाने में दर्ज एफआईआर में अब एनडीपीएस की धारा बढ़ाई जाएगी। इलाहाबाद हाईकोर्ट की टिप्पणी के बाद पुलिस अब धाराओं में बढ़ोतरी करेगी। इसी मामले में एसटीएफ से बर्खास्त सिपाही आलोक सिंह और उसके साथियों को गिरफ्तार किया गया था। एसटीएफ कफ सिरप की तस्करी में शामिल अन्य आरोपियों की तलाश कर रही है।

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