खामोश हो गई किसानों और मजदूरों की आवाज, चौधरी अजित सिंह के निधन पर शोक में डूबा बागपत

हम तो कुछ दिन के मेहमान हैं

किसानों और मजदूरों की आवाज खामोश हो गई है। 6 मार्च 2021 की वह अंतिम मुलाकात हमेशा याद रहेगी। जब चौधरी साहब ने कहा कि आप पढ़े-लिखे हो। जयंत के साथ मिलकर ऐसे राजनीतिक परिवेश का निर्माण करो जिसका उद्देश्य सिर्फ देश और आम आदमी की तरक्की हो। हम तो कुछ दिन के मेहमान हैं। आप लोगों को ही देश एवं समाज के विषय में सोचना है। उनके ये शब्द बहुत भावुक कर रहे हैं।-डॉ. कुलदीप उज्ज्वल, राष्ट्रीय सचिव राष्ट्रीय लोकदल
किसान राजनीति के लिए अपूरणीय क्षति
राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री चौधरी अजित सिंह का निधन देश की राजनीति के लिए अपूरणीय क्षति है उन्होंने सदैव साफ-सुथरी राजनीति की, उनके निधन से किसान राजनीति नेतृत्व विहीन हो गई है। -मनोज चौधरी, जिलाध्यक्ष समाजवादी पार्टी
सर्वसमाज के हिमायती थे चौधरी साहब
किसान, मजदूर व सर्वसमाज की हिमायत करने वाले राष्ट्रीय लोकदल के मुखिया हमारे बीच नहीं रहे। इस दुखद खबर से स्तब्ध और निशब्द हूं। चौधरी साहब का आत्मीय लगाव हमेशा याद रहेगा।- सुभाष गुर्जर, जिला पंचायत सदस्य
गुम हुई किसान व मजदूर की आवाज
किसान के मसीहा रालोद सुप्रीमो के निधन से गरीबों व खेती किसानी करने वालों के हक की लड़ाई लड़ने वाली आवाज गुम हो गई है। चौधरी साहब की कमी सदैव खलेगी।-देवेंद्र आर्य, राष्ट्र वंदना मिशन के जिला संयोजक
अजित सिंह राजनेता होने के साथ बेहद सरल स्वभाव के व्यक्ति थे। वह हर वर्ग को सम्मान देते थे। इसीलिए सभी की उनसे भावनाएं जुड़ी हुई थीं। वह मजदूरों, पीड़ितों और कमजोर वर्ग के भी हिमायती थेे।-अजहर खान, जिला महासचिव रालोद
किसानों ने मसीहा खो दिया
किसानों व मजदूरों ने अपना मसीहा खो दिया। उनके हित में उठने वाली आवाज हमेशा के लिए शांत हो गई। ऐसे नेता रालोद प्रमुख चौधरी अजीत सिंह को मेरी भावभीनी श्रद्धांजलि।-यशवीर सिंह, क्षेत्रीय अध्यक्ष, हस्तिनापुर क्षेत्र, रालोद
चौधरी साहब को भुलाया नहीं जा सकता
चौधरी अजित सिंह के किसानों एवं मजदूरों के लिए किए कार्यों को भुलाया नहीं जा सकता। वह बहुत सरल, ईमानदार एवं बेदाग छवि वाले नेता थे। समस्त किसान, मजदूर व समाज की इस अपूरणीय क्षति को सह पाना मुश्किल होगा।-अश्वनी तोमर, जिला जाट महासभा बागपत
सदैव साफ सुथरी राजनीति की
राष्ट्रीय लोकदल के मुखिया चौधरी अजित सिंह ने सदैव साफ-सुथरी राजनीति की। उनके निधन से देश में किसान राजनीति नेतृत्व विहीन हो गई है। उन्होंने जीवन भर किसानों के लिए संघर्ष किया।-नगेंद्र सिंह, सपा नेता व पूर्व महासचिव जिला जाट सभा बागपत
किसान राजनीति में शून्य उत्पन्न
राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष ने किसान मजदूर गरीब गांव की आवाज को बुलंद किया। उनके हक के लिए सड़क से लेकर संसद तक संघर्ष किया। उनके निधन से भारतीय किसान राजनीति में बड़ा शून्य उत्पन्न हो गया है। -सोमेंद्र ढाका, प्रदेश वरिष्ठ उपाध्यक्ष व ओमबीर सिंह जिलाध्यक्ष बागपत
प्रभु श्री चरणों में स्थान दें
किसानों व मजदूरों के सच्चे रहनुमा चले गए। चौधरी अजित सिंह की पूर्ति नहीं हो सकती है। प्रभु उनकी आत्मा को श्री चरणों में स्थान दे।-डॉ. अजय तोमर, पूर्व विधायक
किसान राजनीति का अध्याय खत्म
चौधरी अजित सिंह के जाने से किसान युग का एक अध्याय समाप्त हो गया। यह मेरी निजी क्षति भी है। आजीवन किसानों के मुद्दों को हल करने के लिए प्रयासरत रहे।-डॉ. अजय कुमार, पूर्व विधायक
किसान व मजदूर वर्ग की हानि
राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष अजित सिंह किसानों के बड़े नेता थे। उनकी मृत्यु से किसान व मजदूरों को हानि पहुंची है। जिसे पूरा नहीं किया जा सकता।-वीरपाल राठी, पूर्व विधायक
युवा रालोद जिलाध्यक्ष प्रमेन्द्र तोमर, पूर्व प्रमुख सतेेंद्र मलिक, पूर्व राज्यमंत्री डॉ. ओमवीर सिंह तोमर, रालोद सैनिक प्रकोष्ठ के प्रदेशध्यक्ष कर्नल ब्रहमपाल सिंह तोमर, शहजाद राय शोध संस्थान के निदेशक डॉ. अमित राय जैन, पूर्व राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य भाजपा विनोद जैन, पूर्व जिला पंचायत सदस्य सतीश चौधरी, थांबेदार चौधरी ब्रजपाल विक्रम सिंह राणा सहित बलजोर सिंह आर्य आदि ने भी श्रद्धांजलि अर्पित की।