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Basti News: नमकीन में मिला रहे सेहत बिगाड़ने वाला रंग, इस्तेमाल में बरतें सावधानी
संवाद न्यूज एजेंसी, बस्ती
Updated Wed, 03 Dec 2025 01:34 AM IST
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बाजार में बिक रहा नमकीन संवाद
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बस्ती। पनीर, दूध, खोआ के बाद अब नमकीन में भी धंधेबाज मिलावट कर लोगों की सेहत को खराब कर रहे हैं। इससे नमकीन के शौकीनों को पेट संबंधी समस्या उत्पन्न हो रही है। नमकीन के कई नमूने जांच में फेल पाए गए हैं, जिसको लेकर विभाग अब अलर्ट हुआ है। बाजार में नमकीन खरीदने में सावधानी बरतने की जरूरत है। सस्ते के चक्कर में खुले में बिक रहा नमकीन ले रहे हैं तो यह सेहत के साथ खिलवाड़ कर सकता है।
मुनाफा कमाने के चक्कर में धंधेबाजों ने आमजन के स्वास्थ्य का ख्याल न करते हुए इसमें भी मिलावट करनी शुरू कर दी है। ब्रांडेड कंपनियों की एक्सपायर हो चुके नमकीन के पैकेट सस्ते में खरीदकर वह अपने वहां बनने वाले लोकल नमकीन में मिला दे रहे हैं और इसे बिना रैपर वाले पैकेट में डालकर छोटी दुकानों पर सप्लाई कर देते हैं। इस तरह से तैयार नमकीन 120 से 150 रुपये किलो के भाव में दुकानदार को मिल जाता है, जिसे यह ढाई से तीन सौ रुपये किलो के दाम में बेच रहे हैं।
विभाग भी महज दो चार नमूने लेकर चुप्पी साध लेता है। दुकानों पर इस तरह से बिकने वाला नमकीन पर न तो निर्माता का नाम, पता होता है और न ही इस पर उत्पादन या एक्सपायरी डेट होती है, ऐसे में दुकानदार इसे जब तक चाहे बेच सकते हैं। मिलावट करने वालों को विभागीय अधिकारियों की सुस्ती खूब भा रही है।
खराब बेसन से बना देते हैं नमकीन: प्रयोग में न आने वाले खराब बेसन को धंधेबाज खरीद कर उसे नमकीन में प्रयोग कर लेते हैं। कम लागत में तैयार नमकीन को बाजार में बेच दे रहे हैं।
इसमें खराब मसाले, तेल और मैदा का भी प्रयोग करते हें, जिसे डॉक्टर सेहत के लिए नुकसानदेय बता रहे हैं। कहते हैं डॉक्टर : जिला अस्पताल के सर्जन डॉ. विजय तिवारी ने बताया कि मिलावटी खाद्य सामग्री और नमकीन से पेट संबंधी समस्या हो सकती है। इसमें कई तरह के रंग और केमिकल इस्तेमाल किए जाते हैं। यह केमिकल पेट की पाचन संबंधी शक्ति पर प्रभाव डालते हैं।
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मुनाफा कमाने के चक्कर में धंधेबाजों ने आमजन के स्वास्थ्य का ख्याल न करते हुए इसमें भी मिलावट करनी शुरू कर दी है। ब्रांडेड कंपनियों की एक्सपायर हो चुके नमकीन के पैकेट सस्ते में खरीदकर वह अपने वहां बनने वाले लोकल नमकीन में मिला दे रहे हैं और इसे बिना रैपर वाले पैकेट में डालकर छोटी दुकानों पर सप्लाई कर देते हैं। इस तरह से तैयार नमकीन 120 से 150 रुपये किलो के भाव में दुकानदार को मिल जाता है, जिसे यह ढाई से तीन सौ रुपये किलो के दाम में बेच रहे हैं।
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विभाग भी महज दो चार नमूने लेकर चुप्पी साध लेता है। दुकानों पर इस तरह से बिकने वाला नमकीन पर न तो निर्माता का नाम, पता होता है और न ही इस पर उत्पादन या एक्सपायरी डेट होती है, ऐसे में दुकानदार इसे जब तक चाहे बेच सकते हैं। मिलावट करने वालों को विभागीय अधिकारियों की सुस्ती खूब भा रही है।
खराब बेसन से बना देते हैं नमकीन: प्रयोग में न आने वाले खराब बेसन को धंधेबाज खरीद कर उसे नमकीन में प्रयोग कर लेते हैं। कम लागत में तैयार नमकीन को बाजार में बेच दे रहे हैं।
इसमें खराब मसाले, तेल और मैदा का भी प्रयोग करते हें, जिसे डॉक्टर सेहत के लिए नुकसानदेय बता रहे हैं। कहते हैं डॉक्टर : जिला अस्पताल के सर्जन डॉ. विजय तिवारी ने बताया कि मिलावटी खाद्य सामग्री और नमकीन से पेट संबंधी समस्या हो सकती है। इसमें कई तरह के रंग और केमिकल इस्तेमाल किए जाते हैं। यह केमिकल पेट की पाचन संबंधी शक्ति पर प्रभाव डालते हैं।