UP: महिला की क्रूरता के साथ गला रेतकर हत्या, चेहरे-गले और पेट में गहरे जख्म... शव के पास पड़ी मिलीं ये वस्तुएं
पुलिस अधिकारियों के अनुसार हत्याकांड में किसी परिचित या किसी अन्य संदिग्ध की भूमिका की जांच की जा रही है। एएसपी श्याम कांत ने कहा कि मामले की हर एंगल से जांच की जा रही है।
विस्तार
सिद्धार्थनगर जिले के बांसी कोतवाली क्षेत्र से तीन साल बेटे के साथ घर से निकली 30 वर्षीय महिला की गला रेतकर हत्या कर दी गई। बृहस्पतिवार सुबह करीब 11 बजे रुधौली नगर पंचायत के कामता प्रसाद नगर वार्ड स्थित लक्ष्मी देवी कन्या इंटर कॉलेज के बगल स्थित बगीचे में उसका क्षत-विक्षत शव मिला। चेहरे, गले और पेट में गहरे घाव देखकर अंदेशा है कि हमलावरों ने क्रूरता के साथ इस वारदात को अंजाम दिया है।
शव के पास से मिले आधार कार्ड के आधार पर महिला की पहचान प्रीति (30) पत्नी बाबूलाल, निवासी इंदिरानगर वार्ड, गंगोली, बांसी कोतवाली, सिद्धार्थनगर के रूप में हुई। घटनास्थल पर शराब व पानी की बोतलें, नमकीन के पैकेट मिलने से पुलिस हत्या से पहले किसी प्रकार की गतिविधि या साजिश की आशंका की भी जांच रही है। साथ ही मृतका का मासूम बेटा दिलखुश वहीं पास में लावारिस अवस्था में मिला, जिसे पुलिस ने परिजनों को सौंप दिया है।
मृतका के पति बाबूलाल मिठाई बनाने के कारीगर है। उनके तीन बच्चे दीपिका (7), किशन (5) और दिलखुश (3) हैं। बाबूलाल ने बताया कि वह बुधवार को काम पर गया था। उसी दिन दोपहर बाद करीब तीन बजे प्रीति बिना कुछ बताए छोटे बेटे को लेकर घर से निकल गई। शाम तक न लौटने पर परिवार के लोग चिंतित हुए।
रात आठ बजे बाबूलाल को उसकी मां ज्ञानमती ने फोन कर बताया कि बहू और बच्चा अब तक घर नहीं लौटे। परिवार ने रातभर और सुबह खोजबीन की, लेकिन प्रीति का कोई पता नहीं चला। इसकी सूचना पुलिस को नहीं दी गई थी। इसी बीच बृहस्पतिवार की सुबह करीब 11 बजे बगीचे में महिला का शव मिलने की सूचना पर पुलिस पहुंची और पहचान की प्रक्रिया के बाद परिजनों को बुलाया।
पुलिस अधिकारियों के अनुसार हत्याकांड में किसी परिचित या किसी अन्य संदिग्ध की भूमिका की जांच की जा रही है। एएसपी श्याम कांत ने कहा कि मामले की हर एंगल से जांच की जा रही है और जल्द ही हत्या की गुत्थी सुलझा ली जाएगी। बताया जा रहा है कि महिला का मायका शोहरतगढ़ के गडाकुल मोहल्ले में है।
रात में लावारिश मिला था बेटा
प्रीति के साथ घर से निकला दिलखुश बुधवार को ही रात नौ बजे घटना स्थल से करीब सौ मीटर दूर लावारिस हालत में एक राहगीर को मिला था। पूछने पर वह अपने बारे में कुछ नहीं बता पा रहा था। काफी प्रयास के बावजूद पुलिस उसकी पहचान नहीं कर पाई। पहले तो पुलिस बालक को थाने में रखना भी नहीं चाहती थी, बाद में काफी दबाव पर रखने को तैयार हुई। बृहस्पतिवार को बाग में महिला का शव मिलने के बाद परिवार के लोग पहुंचे तो बाबूलाल ने उसकी अपने बेटे के रूप में पहचान की। बच्चा पूरी तरह से स्वस्थ है, लेकिन एहतियातन उसको सीएचसी में भर्ती कराया गया है।
लापरवाही पर रुधौली थानाध्यक्ष तलब
लावारिस बालक मिलने के मामले में रुधौली पुलिस की लापरवाही सामने आई है। थाने में रखने की जगह न होने का हवाला देकर लौटा दिया गया। सूचना पर सीडब्ल्यूसी अध्यक्ष प्रेरक मिश्रा ने स्वतः संज्ञान लेते हुए थानाध्यक्ष और बाल कल्याण अधिकारी से स्पष्टीकरण मांगा है। अध्यक्ष प्रेरक मिश्रा ने कहा कि बच्चे को सुरक्षित प्रस्तुत कर मेडिकल व संरक्षण प्रक्रिया जरूरी है। लापरवाही को शिशु के हितों के खिलाफ बताते हुए चेतावनी दी कि संतोषजनक जवाब न मिलने पर कार्रवाई होगी।