बुलंदशहर में कार बनी आग का गोला: गश्त के दौरान पुलिस ने बचाई जान, पिता और उसके चार बच्चों को सुरक्षित निकाला
चोला थाना प्रभारी ने बताया कि कार पूरी तरह से नष्ट हो चुकी है, लेकिन गनीमत रही कि किसी भी प्रकार की जनहानि नहीं हुई।
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चोला थाना क्षेत्र के गांव खवासपुर के पास एक चलती कार में भीषण आग लग गई। इस बीच गश्त पर निकले दो कांस्टेबल की सूझबूझ और स्थानीय लोगों की मदद से कार सवार परिवार, जिसमें चार छोटे बच्चे भी शामिल थे, सभी को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। हालांकि, कार आग की लपटों में पूरी तरह जलकर खाक हो गई।
यह घटना रात्रि लगभग 10 बजे के करीब उस समय हुई जब सुभाष बाबू पुत्र इंद्रमुनिम, निवासी खेल मोहल्ला, थाना शिकारपुर, अपनी टाइगो कार (UP13CC7064) में चार छोटे बच्चों के साथ अपने मिलन होटल ककोड़ से शिकारपुर की ओर जा रहे थे। बताया जा रहा है कि पति-पत्नी के बीच किसी विवाद के कारण वे तनाव में थे और इसी कारण उन्होंने बच्चों के साथ वहां से जाने का फैसला लिया।
जैसे ही वे चोला फ्लाईओवर से लगभग पांच किलोमीटर आगे खवासपुर सुल्तानपुर के पास पहुंचे, कार के बोनट से अचानक आग की लपटें उठने लगीं। आग इतनी तेजी से फैली कि आसपास से गुजर रहे अन्य वाहन चालक अपनी गाड़ियों को रोककर दूर खड़े हो गए।
रात्रि गश्त पर निकली चोला थाना की फतेपुर चौकी के कांस्टेबल यामीन और राहुल ने जैसे ही कार में आग की विकराल लपटें देखीं, वे तुरंत मौके की ओर बढ़े। उन्होंने आसपास खड़े लोगों की मदद से तत्काल बचाव कार्य शुरू किया। सबसे पहले, बड़ी मशक्कत के बाद चारों बच्चों को कार से सुरक्षित बाहर निकाला गया। इसके बाद, सुभाष बाबू को भी कार से निकालकर सुरक्षित स्थान पर पहुंचाया गया।
घटना की सूचना मिलते ही थाना प्रभारी मय फोर्स के साथ मौके पर पहुंचे। फायर ब्रिगेड को भी तुरंत बुलाया गया और आग पर काबू पाने का प्रयास शुरू किया गया। इस बीच, सुभाष बाबू की पत्नी और उनके कुछ साथी भी मौके पर पहुंच गए।
इस बीच, मौके पर पहुंचे सुभाष बाबू के परिजनों और उनकी पत्नी के बीच कहासुनी हो गई। पत्नी का कहना था कि उन्हें ककोड़ जाना है, जबकि सुभाष बाबू के परिजन उन्हें शिकारपुर ले जाना चाहते थे। स्थिति को भांपते हुए, थाना प्रभारी चोला ने दोनों पक्षों को समझाया और मामला शांत कराया। अंततः, सुभाष बाबू अपनी पत्नी और चारों बच्चों के साथ ककोड़ के लिए रवाना हो गए।
