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हिंदी के शब्द नहीं लिख पाए बच्चे
अमर उजाला ब्यूरो कौशाम्बी
Updated Fri, 29 Jul 2016 12:24 AM IST
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जिला बेसिक शिक्षाधिकारी के निर्देश पर एबीएसए ने गुरुवार को सिराथू तहसील के जलालपुर और भदवां गांव का निरीक्षण किया। जहां पर एबीएसए को विद्यालय मेें बहुत सी खामियां मिली। भदवां स्कूल के कक्षा आठ के बच्चे हिंदी का शब्द नहीं लिख पाए। एबीएसए ने विद्यालय के प्रधानाध्यापक के खिलाफ कार्रवाई के लिए जिला बेसिक शिक्षाधिकारी को पत्र लिख दिया है।
गुरुवार को एबीएसए ने सिराथू तहसील के जलालपुर और प्राथमिक विद्यालय भदवां का औचक निरीक्षण किया। जिसमें प्राथमिक विद्यालय जलालपुर में निरीक्षण के दौरान 101 बच्चों में से सिर्फ 54 बच्चे ही उपस्थित मिले। इसके बाद एबीएसए ने भदवां गांव जा कर प्राथमिक विद्यालय का निरीक्षण किया। जहां पर उन्हें 370 बच्चों की जगह मात्र 75 बच्चे ही उपस्थित मिले। साथ ही सहायक अध्यापक मौसम नारायण और रैना सिंह बिना सूचना के ही विद्यालय से गायब मिले।
एबीएसए द्वारा बच्चों से पूछे जाने पर बताया गया कि विद्यालय में तीन दिनों से एमडीएम नहीं बन रहा है। बच्चों को केवल लाई का वितरण किया जा रहा है। जबकि एमडीएम रजिस्टर में खाना बनना दर्शाया गया था। विद्यालय में समय सारणी नहीं बनाई गई है। विद्यालय परिसर की बाउंड्री पुरी तरह से टूटी हुई है। साथ ही शिक्षा की गुणवत्ता भी खराब पाई गई। इसके बाद एबीएसए ने पूर्व माध्यमिक विद्यालय भदवां का भी निरीक्षण किया। जहां पर 79 की सापेक्ष में 41 बच्चे उपस्थित पाए गए। विद्यालय का शौचालय पूरी तरह से खराब पड़ा था। विद्यालय में पढ़ रहे कक्षा 8 के बच्चे हिंदी का शब्द नहीं लिख पा रहे थे। जिस पर एबीएसए ने प्रधानाध्यपक को कड़ी फटकार लगाते हुए कार्रवाई के लिए जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को पत्र लिख कर भेजा दिया है।

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गुरुवार को एबीएसए ने सिराथू तहसील के जलालपुर और प्राथमिक विद्यालय भदवां का औचक निरीक्षण किया। जिसमें प्राथमिक विद्यालय जलालपुर में निरीक्षण के दौरान 101 बच्चों में से सिर्फ 54 बच्चे ही उपस्थित मिले। इसके बाद एबीएसए ने भदवां गांव जा कर प्राथमिक विद्यालय का निरीक्षण किया। जहां पर उन्हें 370 बच्चों की जगह मात्र 75 बच्चे ही उपस्थित मिले। साथ ही सहायक अध्यापक मौसम नारायण और रैना सिंह बिना सूचना के ही विद्यालय से गायब मिले।
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एबीएसए द्वारा बच्चों से पूछे जाने पर बताया गया कि विद्यालय में तीन दिनों से एमडीएम नहीं बन रहा है। बच्चों को केवल लाई का वितरण किया जा रहा है। जबकि एमडीएम रजिस्टर में खाना बनना दर्शाया गया था। विद्यालय में समय सारणी नहीं बनाई गई है। विद्यालय परिसर की बाउंड्री पुरी तरह से टूटी हुई है। साथ ही शिक्षा की गुणवत्ता भी खराब पाई गई। इसके बाद एबीएसए ने पूर्व माध्यमिक विद्यालय भदवां का भी निरीक्षण किया। जहां पर 79 की सापेक्ष में 41 बच्चे उपस्थित पाए गए। विद्यालय का शौचालय पूरी तरह से खराब पड़ा था। विद्यालय में पढ़ रहे कक्षा 8 के बच्चे हिंदी का शब्द नहीं लिख पा रहे थे। जिस पर एबीएसए ने प्रधानाध्यपक को कड़ी फटकार लगाते हुए कार्रवाई के लिए जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को पत्र लिख कर भेजा दिया है।