{"_id":"68b186a1d33f9eefb701b0c3","slug":"video-drunk-headmaster-caught-sleeping-on-table-jeopardizing-students-future-2025-08-29","type":"video","status":"publish","title_hn":"देखिए... एक गुरुजी ऐसे भी!: शराब पीकर स्कूल पहुंचे हेडमास्टर साहब, टेबल पर सोते आए नजर; वीडियो वायरल","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
देखिए... एक गुरुजी ऐसे भी!: शराब पीकर स्कूल पहुंचे हेडमास्टर साहब, टेबल पर सोते आए नजर; वीडियो वायरल
कोरबा ब्यूरो
Updated Fri, 29 Aug 2025 04:23 PM IST
कोरबा जिले के करतला ब्लॉक अंतर्गत ग्राम पंचायत जर्वे के शासकीय प्राथमिक शाला की घटना है।शाला के प्रधान पाठक चंद्रपाल पैकरा जहा शराब पीकर नशे में आते है अक्सर शराब के नशे में विद्यालय आते हैं और सो जाते है उनकी इन हरकतों से बच्चे और परिजन परेशान है।फिर से शराब के नशे आया और सो गया इस बार हेड मास्टर का वीडियो बनाकर सोशल मीडिया में किसी ने वायरल कर दिया। मास्टर साहब शराब के नशे में नींद इतनी गहरी की दो-चार बार आवाज देने के बाद भी नहीं उठे। इस विद्यालय में बच्चों की कुल दर्ज संख्या 46 है जिन्हें दो कक्षाओं में बिठाया जाता है। एक कक्षा में देव प्रसाद बर्मन नाम के शिक्षक अध्यापन कार्य कर रहे थे तो दूसरी कक्षा में बच्चे अपनी मस्ती में मशगूल थे दूसरी ओर प्रधान पाठक मदहोश होकर अपने कार्यालय में आराम फरमा रहे थे। यहां पढ़ने वाले बच्चों के भविष्य का तो पता नहीं लेकिन एक लाख रु मासिक वेतन पाने वाले प्रधान पाठक चंद्रपाल पैकरा का भविष्य न केवल उज्जवल है बल्कि सुरक्षित भी है । बात यहीं खत्म नहीं होती शिक्षकों को राष्ट्र निर्माता कहा जाता है क्योंकि वह बच्चों को बेहतर शिक्षा देखकर देश का भविष्य गढ़ते हैं लेकिन इन जनाब को ना तो छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री का नाम पता है और ना ही देश के प्रधानमंत्री का। ग्रामीणों की माने तो हेड मास्टर साहब शराब की लट्ठे हुए अक्सर स्कूल आते हैं और अपनी हरकतों से बाज नहीं आते संबंधित विभाग भी इन पर नजर नहीं रख पा रही है इस वजह से हेड मास्टर के हौसले बुलंद है। प्रदेश के सरकारी स्कूलों में पदस्थ शिक्षकों का नशे की हालत में स्कूल आना यह कोई पहला मामला नहीं है शराबी शिक्षकों को अच्छे से पता होता है कि ज्यादा से ज्यादा कुछ दिनों के लिए निलंबित होंगे लेकिन शिक्षा विभाग द्वारा उन्हें बर्खास्त हरगिज नहीं किया जाएगा। बैठे बिठाये 50 हजार से 1 लाख तक वेतन पाने वाले ऐसे शिक्षक न केवल सरकार को चूना लगा रहे हैं बल्कि बच्चों के भविष्य को भी गर्त में डाल रहे हैं।
इस संबंध में बी ई ओ संदीप पांडे ने बताया कि इस मामले में जांच प्रतिवेदन तैयार कर जिला शिक्षा अधिकारी को सौंप दिया गया है बहुत जल्द निलंबन की कार्यवाही की जाएगी
एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें
Next Article
Disclaimer
हम डाटा संग्रह टूल्स, जैसे की कुकीज के माध्यम से आपकी जानकारी एकत्र करते हैं ताकि आपको बेहतर और व्यक्तिगत अनुभव प्रदान कर सकें और लक्षित विज्ञापन पेश कर सकें। अगर आप साइन-अप करते हैं, तो हम आपका ईमेल पता, फोन नंबर और अन्य विवरण पूरी तरह सुरक्षित तरीके से स्टोर करते हैं। आप कुकीज नीति पृष्ठ से अपनी कुकीज हटा सकते है और रजिस्टर्ड यूजर अपने प्रोफाइल पेज से अपना व्यक्तिगत डाटा हटा या एक्सपोर्ट कर सकते हैं। हमारी Cookies Policy, Privacy Policy और Terms & Conditions के बारे में पढ़ें और अपनी सहमति देने के लिए Agree पर क्लिक करें।