गांव में अकेले रहने वाली दादी के घर पहुंचकर रात में उसकी हत्या करने वाले दो नाती तथा उसके एक दोस्त को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। दादी की हत्या होने की रिपोर्ट दर्ज करवाने आरोपी नाती ही थाने पहुंचे थे। आरोपियों ने ट्रैक्टर की किस्त चुकाने के लिए रुपये नहीं होने पर घटना को अंजाम दिया।
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बालाघाट के गढ़ी थाना प्रभारी प्रभारी भूपेंद्र पंद्रो के अनुसार गोत्रीन बाई धुर्वे (65) गढ़ी में अकेले रहती थी। वृद्धा महिला का घर में रक्तरंजित शव पड़े होने की जानकारी उसके नाती ग्राम बैजयपुर निवासी सुनील धुर्वे द्वारा 9 अगस्त को थाने में दी गई थी। वृद्धा की हत्या धारदार हथियार से की गई थी और सिर सहित पूरे शरीर में एक दर्जन से अधिक चोटों के निशान थे। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भिजवा कर हत्या का प्रकरण दर्ज कर प्रकरण को विवेचना में लिया था।
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पुलिस को विवेचना के दौरान सुराग मिला कि 8-9 अगस्त की दरम्यानी रात दोनों नाती तथा उसका एक दोस्त वृद्धा के घर आए थे। पुलिस ने बैजयपुर निवासी सुनील धुर्वे तथा उसके छोटे भाई राजकुमार धुर्वे को अभिरक्षा में लेकर पूछताछ की तो उन्होंने अपने साथी नूनकाटोला निवासी सुनील पिता शिवप्रसाद कुसरिया (27) के साथ मिलकर दादी की हत्या करना स्वीकार की। उन्होंने बताया कि बैंक से फायनेंस टैक्टर की किस्त जमा करने के लिए वह रुपये मांगने दादी के घर गए थे। दादी ने रुपये देने से इंकार कर दिया। उसके कारण उन्होंने दादी की हत्या कर दी। दोस्ते ने दादी को पकड़कर रखा था और उसने कुल्हारी से हमला कर दादी की हत्या करी थी। पुलिस ने अंधी हत्या का पर्दाफाश करते हुए तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है।