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Vijay Dashami 2022: सामाजिक समरसता का संदेश देगा विजय दशमी का जुलूस, सीसीटीवी से रखी जाएगी नजर

अमर उजाला ब्यूरो, गोरखपुर। Published by: vivek shukla Updated Mon, 03 Oct 2022 09:53 AM IST
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Vijay Dashami procession will give the message of social harmony
सीएम योगी का विजय दशमी जुलूस। (File) - फोटो : अमर उजाला।

गोरक्षपीठाधीश्वर व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अगुवाई में मंगलवार (4 अक्तूबर) को निकलने वाला विजय जुलूस सामाजिक समरसता का संदेश देगा। जुलूस का जगह-जगह स्वागत होगा। बुनकर व मुस्लिम समाज के लोग भी स्वागत करेंगे। यह परंपरा लंबे समय से चली आ रही है।


 
विजयदशमी का पर्व गोरक्षपीठ की विशिष्टता को दर्शाता है। परंपरा के अनुसार विजयदशमी पर गोरखनाथ मंदिर से गोरक्षपीठाधीश्वर की शोभायात्रा धूमधाम से निकाली जाएगी। पीठाधीश्वर, गुरु गोरक्षनाथ का आशीर्वाद लेकर अपने वाहन में सवार होंगे। तुरही, नगाड़े व बैंड बाजे की धुन के बीच गोरक्षपीठाधीश्वर की शोभायात्रा मानसरोवर मंदिर जाएगी।

 

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सीएम योगी का विजय दशमी जुलूस। (File) - फोटो : अमर उजाला।

वहां मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ गोरक्षपीठ से जुड़े मानसरोवर मंदिर पर भगवान शंकर की पूजा-अर्चना करेंगे। इसके बाद शोभायात्रा मानसरोवर रामलीला मैदान जाएगी। मुख्यमंत्री रामलीला में प्रभु श्रीराम की भूमिका निभाने वाले कलाकार का राजतिलक करेंगे। साथ ही श्रीराम, जानकी, लक्ष्मण व हनुमान का पूजन कर आरती उतारेंगे। यही नहीं, विजयादशमी के दिन गोरखनाथ मंदिर में होने वाले पारंपरिक तिलकोत्सव कार्यक्रम में गोरक्षपीठाधीश्वर श्रद्धालुओं को आशीर्वाद भी देंगे।

विजयादशमी के दिन शाम को गोरखनाथ मंदिर में परंपरागत सहभोज का आयोजन होगा। इसमें अमीर-गरीब और जाति-मजहब के विभेद से परे बड़ी संख्या में सर्वसमाज के लोग शामिल होंगे।


 

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गोरखनाथ मंदिर से गोरक्षपीठाधीश्वर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की भव्य शोभायात्रा। (फाइल) - फोटो : amar ujala

संतों की अदालत में दंडाधिकारी की भूमिका में होंगे योगी
गोरक्षपीठ में विजयदशमी का दिन एक और मायने में भी खास होता है। इस दिन यहां संतों की अदालत लगती है। गोरक्षपीठाधीश्वर ही दंडाधिकारी की भूमिका में होते हैं। नाथपंथ की परंपरा के अनुसार, पीठाधीश्वर संतों के विवादों का निस्तारण करते हैं। मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ नाथपंथ की शीर्ष संस्था अखिल भारत वर्षीय अवधूत भेष बारह पंथ योगी महासभा के अध्यक्ष भी हैं। इसी पद की वजह से वह दंडाधिकारी की भूमिका में होते हैं। गोरखनाथ मंदिर में विजयदशमी को पात्र पूजा का कार्यक्रम भी होता है। इसमें गोरक्षपीठाधीश्वर संतों के आपसी विवाद को सुलझाते हैं। विवादों के निस्तारण से पहले संत पात्र देव के रूप में योगी आदित्यनाथ का पूजन करते हैं। पात्र देवता के सामने सुनवाई में कोई भी झूठ नहीं बोलता है। पात्र पूजा संत समाज में अनुशासन के लिए भी जाना जाता है।

 

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कन्या पूजन करते सीएम योगी आदित्यनाथ। (file) - फोटो : अमर उजाला।

नवमी को कन्या पूजन करेंगे योगी
नवरात्र के पहले दिन गोरखनाथ मंदिर के मठ के प्रथम तल पर स्थित शक्ति मंदिर में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कलश स्थापना की है। अब शक्ति आराधना के अनुष्ठान के क्रम में नवमी तिथि को (मंगलवार को सुबह 8 बजे) मुख्यमंत्री दुर्गा स्वरूपा कन्याओं के पांव पखारेंगे। उनके माथे पर रोली, चंदन, दही, अक्षत का तिलक लगा विधि-विधान से पूजन करेंगे। पूरी श्रद्धा से भोजन कराकर दक्षिणा व उपहार देकर उनका आशीर्वाद लेंगे। इस दौरान परंपरा के अनुसार बटुक पूजन भी किया जाएगा।

 

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गोरखनाथ मंदिर में सीएम योगी आदित्यनाथ। - फोटो : अमर उजाला।

विजयादशमी शोभायात्रा पर रहेगी सीसीटीवी की नजर
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में गोरखनाथ मंदिर से मानसरोवर मंदिर व रामलीला मैदान तक निकाली जाने वाली विजयादशमी शोभायात्रा पर सीसीटीवी कैमरे की नजर रहेगी। नगर निगम इस शोभायात्रा रूट पर 24 सीसीटीवी कैमरे लगवाएगा। इसके अलावा नगर निगम की ओर से मूर्तियों के लिए राप्ती तट पर बनाए गए कृत्रिम तालाब के पास भी छह सीसीटीवी कैमरे लगवाएगा। साथ ही ड्रोन कैमरे से भी नगर निगम की ओर से निगरानी की जाएगी।

रविवार को नगर आयुक्त अविनाश सिंह ने विजयादशमी पर मुख्यमंत्री के शोभायात्रा का पूरा रूट एवं राप्ती नदी के तट पर मूर्तियों के विसर्जन के लिए नगर निगम द्वारा बनवाए जा रहे कृत्रिम तालाबों का निरीक्षण किया। राप्ती नदी के तट पर मूर्तियों के विसर्जन के लिए कुल 3 पोखरों का निर्माण कराया गया है, जिसमें से दो पोखरों में पानी भी भरा जा चुका है।

नगर आयुक्त ने सहायक अभियंता शैलेश कुमार एवं अवर अभियंता को पोखरों पर मजबूत बैरिकेडिंग कराने का निर्देश दिया ताकि मूर्तियों के विसर्जन के समय कोई अप्रिय घटना न हो। निरीक्षण के समय अपर नगर आयुक्त, उप नगर आयुक्त, मुख्य अभियंता, जोनल अधिकारी जोन 3, सहायक अभियन्ता शैलेश कुमार, अवर अभियंता विवेकानन्द सिंह आदि मौजूद रहे।
 

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