मथुरा: तीन दिन में दो सगी बहनों की मौत, केंद्रीय और राज्य स्तरीय टीम ने अस्पतालों में परखीं व्यवस्थाएं
दिल्ली के नेशनल चिल्ड्रन प्रोटेक्शन कंज्यूमर राइट की तीन सदस्यीय टीम के साथ लखनऊ के राम मनोहर लोहिया अस्पताल की टीम ने मथुरा जिला अस्पताल, महिला जिला अस्पताल और स्वर्ण जयंती अस्पताल का निरीक्षण किया

विस्तार
मथुरा में फरह क्षेत्र के गांव हथियाबली में एक और बालिका की बीमारी से मौत हो गई। परिजनों ने सरकारी प्रशासन के खिलाफ आक्रोश व्यक्त किया है। गौरतलब है कि फरह थाना क्षेत्र में बीमारी के हालात लगातार बिगड़ते जा रहे हैं। विगत दिनों फरह के हथियावली में सोनम (10) पुत्री रतन सिंह की बीमारी से मौत हो चुकी है। बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था के चलते मंगलवार को उसी की सगी बहन सोनिया (7) की उपचार के अभाव में दर्दनाक मौत हो गई। परिजन मृतक बालिका के शव को लेकर सरकारी अस्पताल फरह पहुंचे, वहां परिजनों ने प्रशासन के खिलाफ आक्रोश व्यक्त किया। ग्रामीणों ने बताया कि सोनिया को तीन दिन से बुखार आ रहा था। उसके पेट में दर्द हो गया। जिसे उपचार के लिए फरह स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया। वहां किशोरी की मौत हो गई। चिकित्सा अधीक्षक गोपाल बाबू ने बताया कि किशोरी की बीमारी के चलते मौत हुई है।

केंद्रीय और राज्य स्तरीय टीम ने किया निरीक्षण
मथुरा जनपद में डेंगू और बुखार के प्रकोप का अध्ययन एवं अस्पतालों की व्यवस्थाओं को परखने के लिए केंद्रीय और राज्य स्तरीय टीम ने अस्पतालों का निरीक्षण किया। दिल्ली के नेशनल चिल्ड्रन प्रोटेक्शन कंज्यूमर राइट की तीन सदस्यीय टीम के साथ लखनऊ के राम मनोहर लोहिया अस्पताल की टीम ने मथुरा जिला अस्पताल, महिला जिला अस्पताल और स्वर्ण जयंती अस्पताल का निरीक्षण किया इस दौरान टीम ने यहां भर्ती मरीजों को मिलने वाले उपचार के बारे में जानकारी ली।
जिलाधिकारी नवनीत सिंह चहल ने अस्पताल का निरीक्षण किया। उन्होंने कहा कि अस्पताल आये सभी मरीजों को सरकार की ओर से प्रदत्त सभी सुविधाए समय मुहैया कराए जाने के आदेश दिए हैं। उन्होंने कहा कि बरसात़ के समय उत्पन्न होने वाली संक्रामक बीमारियों से बचाव के लिए कारगर कदम उठाए जाएं। गांव, कस्बा, बाजार एवं सार्वजनिक स्थानों पर विशेष साफ सफाई की व्यवस्था के साथ ही लोगों को संक्रामक बीमारियों-डेंगू बुखार एवं कोविड-19 से बचाव के लिए जागरूक किया जाए।
सात लोग ठीक होकर घर गए
अस्पतालों में तैनात चिकित्सक/पैरा मेडिकल कर्मचारियों का दायित्व बनता है कि वे मरीजों को बेहतर से बेहतर चिकित्सा सुविधा प्रदान कर उन्हें स्वस्थ्य बनाये। जिलाधिकारी ने पैथोलॉजी कक्ष में जाकर कोविड एवं डेंगू की जांच की जानकारी ली तथा सम्भावित संक्रामक बीमारियों के मद्देनजर जांच पर विशेष बल देने पर मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देश दिये। उन्होंने बताया कि स्वर्ण जयन्ती अस्पताल से आज 7 लोग सही होकर अपने घर लौटे हैं। निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी ने मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देश दिये कि कोविड-19 एवं डेंगू जांच पर विशेष ध्यान दिया जाए। रजिस्टर बनाकर उसमें प्रत्येक दिन जांच/सैम्पलिंग का ब्योरा दर्ज कराना सुनिश्चित किया जाए।
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