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विधवा पेंशन घोटाला: बरेली में सुहागिनों ने लिया योजना का लाभ, अब होगी वसूली; मजिस्ट्रेरियल जांच पूरी

संवाद न्यूज एजेंसी, बरेली Published by: मुकेश कुमार Updated Wed, 19 Nov 2025 01:31 PM IST
सार

बरेली जिले में 61 सुहागिन महिलाओं ने विधवा पेंशन ली। इस मामले की मजिस्ट्रेरियल जांच पूरी हो गई है। जांच रिपोर्ट में बिचौलियों के नामों का जिक्र तो है, लेकिन सत्यापन किसने किया, यह पता नहीं चल पाया। 

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Widow pension scam married women took advantage of Widow pension in Bareilly
सांकेतिक तस्वीर - फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
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बरेली में विधवा पेंशन में घोटाले से जुड़े एक मामले की मजिस्ट्रेरियल जांच पूरी हो गई है। यह जांच एसडीएम आंवला ने की है। सुहागिनों एवं अन्य अपात्रों को दी गई पेंशन का सत्यापन किसने किया? जांच के दौरान यह कुछ साबित नहीं हो पाया, लेकिन बिचौलियों के नामों का जिक्र एसडीएम ने अपनी रिपोर्ट में किया है। हालांकि, सत्यापनकर्ताओं के नाम जांच में शामिल करने के लिए एसडीएम की तरफ से क्षेत्रीय ब्लॉक के बीडीओ और जिला प्रोबेशन अधिकारी को कई पत्र लिखे गए, लेकिन उचित जवाब नहीं मिला। इन अधिकारियों ने भी हाथ खड़े कर दिए हैं।

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अप्रैल-मई महीने में आंवला क्षेत्र की 61 सुहागिनों के निराश्रित महिला पेंशन लेने की पुष्टि हुई थी। इसमें जिला प्रोबेशन अधिकारी ने पेंशन राशि की वसूली के लिए कुछ के नाम से आरसी भी जारी की थी। प्रकरण सार्वजनिक होने पर डीएम ने एसडीएम को जांच अधिकारी नामित कर यथाशीघ्र रिपोर्ट मांगी थी। पांच महीने में जांच पूरी करने के उपरांत एसडीएम आंवला विदुषी सिंह ने रिपोर्ट डीएम को भेज दी है। जिस पर कार्रवाई अभी लंबित है। 
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सत्यापन करने वालों का नहीं चला पता 
एसडीएम ने जांच के निष्कर्ष को साझा न करते हुए इतना बताया कि सत्यापन के बाद भी अपात्रों की विधवा पेंशन नहीं रोकी गई? यह बड़ा सवाल है, सत्यापन करने वाले कौन अधिकारी-कर्मचारी थे। उनके नाम न तो बीडीओ ने उन्हें उपलब्ध कराए और न ही जिला प्रोबेशन अधिकारी ने। हालांकि, इसके लिए उन्होंने कई बार पत्राचार भी किया पर सफलता नहीं मिली। एसडीएम ने बताया कि जिन बिचौलियों ने सुहागिनों के पतियों के नाम का मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाया और महिलाओं को कागजों में विधवा दर्शाकर उनकी पेंशन बनवाई, उनके नाम उन्हें मिले हैं। जिसका जिक्र उन्होंने जांच रिपोर्ट में भी किया है।

61 सुहागिनों से 23.86 लाख की होनी है वसूली
आंवला तहसील के गांवों में पेंशन लेने वाली सुहागिनों से वसूली के लिए अप्रैल में 27 लोगों के नाम से आरसी जारी हुई थी। पहले भी 2023 में इसी तहसील की 34 सुहागिनों को आरसी जारी है। इस तरह कुल 61 अपात्र महिलाओं से 23.86 लाख रुपये पेंशन राशि वसूली की कार्रवाई चल रही है। इसमें एक-एक महिला से 14 हजार से 69 हजार रुपये तक वसूली होनी है। इसी मामले की जांच रिपोर्ट एसडीएम ने डीएम को दी है।

भीमपुर की देवरानी-जेठानी ले रहीं विधवा पेंशन
आलमपुर जाफराबाद ब्लॉक के गांव भीमपुर की परवीन पत्नी मुनेश कुमार और सुनीता पत्नी चंद्रपाल देवरानी-जेठानी हैं। दोनों के पति जीवित हैं और वह छह साल से विधवा पेंशन ले रही थीं। दोनों को 69-69 हजार रुपये की आरसी जारी है। परवीन ने बताया कि उनके पास आंवला के कुछ दलाल आए थे, जो महामाया पेंशन बनवाने के लिए उनसे कागज और 3 हजार रुपये लिए थे। खाते में जब तीन महीने की पेंशन आई तो पहली किस्त की धनराशि भी ले ली थी। उन्होंने कहा कि जब उन्हें पता चला तो दलाल से पेंशन लेने से इन्कार किया था, लेकिन उसने पेंशन बंद नहीं कराई। उनके पति मुनेश मजदूरी करते हैं।

डीएम अविनाश सिंह ने बताया कि एसडीएम की जांच रिपोर्ट मिल गई है। जांच के दौरान पेंशन योजना में काफी अनियमितताएं मिली हैं। संबंधित दोषियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई कर रहे हैं।

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