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अखिलेश सरकार की किरकिरी, दुर्गा का मामला पहुंचा हाईकोर्ट

लखनऊ/ब्यूरो Updated Wed, 31 Jul 2013 12:01 AM IST
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durga shakti suspension issue
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निलंबित आईएएस अफसर दुर्गाशक्ति नागपाल ने मंगलवार को राजस्व परिषद में रिपोर्ट कर अपनी उपस्थिति दर्ज कराई। निलंबन के बाद सरकार ने उन्हें राजस्व परिषद से अटैच किया है।

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इस बीच मुख्यमंत्री अखिलेश यादव के कर्नाटक दौरे से लौटने के बाद कार्यवाहक मुख्य सचिव आलोक रंजन ने उनसे मुलाकात की। हालांकि मुख्य सचिव ने कहा कि निलंबित आईएएस अफसर केबारे में मुख्यमंत्री से उनकी कोई बातचीत नहीं हुई।
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राजधानी में दिनभर इस मुद्दे पर चर्चाओं का बाजार गर्म रहा। आईएएस एसोसिएशन के सदस्यों के सोमवार को मुख्य सचिव से मिलने के बाद उम्मीद की जा रही थी कि दुर्गाशक्ति राजस्व परिषद में रिपोर्ट करेंगी, लेकिन उन्होंने सोमवार को वहां रिपोर्ट नहीं की।

अलबत्ता नागपाल मंगलवार को राजस्व परिषद पहुंचीं और आयुक्त व सचिव को रिपोर्ट करने के बाद राजस्व परिषद के अध्यक्ष से मिलीं। हालांकि वह थोड़ी देर ही राजस्व परिषद में रुकीं।

अब सबकी नजर मुख्य सचिव आलोक रंजन और मुख्यमंत्री की अगली बैठक पर है, जब वे इस मामले को मुख्यमंत्री के सामने रखेंगे। रंजन उत्तर प्रदेश आईएएस एसोसिएशन के अध्यक्ष भी हैं।

उधर, एसोसिएशन के पदाधिकारी कौशल राज शर्मा ने कहा कि हमने अपनी बात मुख्य सचिव के सामने रख दी है और अब उन्हें मुख्यमंत्री से बात करनी है।

2010 बैच की आईएएस अफसर दुर्गाशक्ति नागपाल गौतमबुद्धनगर में एसडीएम सदर के पद पर तैनात थीं। शनिवार देर रात शासन ने अचानक नागपाल को निलंबित कर राजस्व परिषद से संबद्ध कर दिया।

अखिलेश सरकार की चौरतफा किरकिरी
इस मामले में सरकार पर आईएएस एसोसिएशन के साथ ही राजनीतिक दलों का दबाव भी है। सरकार के इस फैसले की देशभर में किरकिरी हो रही है। ज्यादातर लोगों का मानना है कि सरकार को नागपाल का निलंबन वापस लेना चाहिए।

तमाम सोशल साइट पर लोग अपनी प्रतिक्रिया देने के साथ ही सरकार को घेर रहे हैं। बहरहाल अब फैसला सरकार को लेना है। हालांकि सरकार यदि तुरंत कोई फैसला लेती है तो ऐसा संदेश जाएगा कि वह दबाव में आ गई है।

लिहाजा मुख्य सचिव और मुख्यमंत्री की बैठक के बाद इस मामले पर बीच का कोई रास्ता निकाला जा सकता है।

नोटिस के साथ ही देनी चाहिए चार्जशीट
प्रदेश के एक वरिष्ठ अधिकारी कहते हैं कि सरकार को निलंबित अफसर को नोटिस के साथ ही चार्जशीट देनी चाहिए थी, ताकि वे आगे की रणनीति तय कर सकें। अगर चार्जशीट मिल जाती है तो वे कोर्ट भी जा सकती हैं।

आईएएस दुर्गा शक्ति का मामला पहुंचा हाईकोर्ट
आईएएस अफसर दुर्गाशक्ति नागपाल केनिलंबन का मामला हाईकोर्ट पहुंच गया। एक सामाजिक कार्यकर्ता ने हाईकोर्ट की लखनऊ पीठ में जनहित याचिका दायर कर नागपाल जैसे अफसरों को सपोर्ट करने के निर्देश केंद्र व राज्य सरकारों को देने का आग्रह किया। याचिका पर एक अगस्त को सुनवाई हो सकती है।

याची नूतन ठाकुर ने कहा है कि अवैध खनन कराने वाले माफिया व धार्मिक स्थलों केनाम पर अवैध निर्माण कराने वालों पर हाथ डालने की सिर्फ कुछ ही अफसर हिम्मत करते हैं।

याची का कहना है कि इसी तरह गौतम बुद्ध नगर में तैनात आईएएस अफसर नागपाल को अवैध खनन व अवैध धार्मिक निर्माण के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने को लेकर मनमाने ढंग से सस्पेंड कर दिया गया।

इसको लेकर याची ने कार्मिक व प्रशिक्षण विभाग केसचिव समेत सूबे के मुख्य सचिव को ऐसे अफसरों की हिफाजत किए जाने के ज्ञापन दिए हैं।

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