Saharanpur: आज नहीं तो कल..., पानी के इंतजार में बूढ़े हो गए जवान, 32 साल से निगम की टंकी से नहीं मिला जल
क्षेत्रवासियों को स्वच्छ जल उप्लब्ध कराने के लिए जल निगम द्वारा 32 साल पहले पानी की टंकी बनवाई गई थी, लेकिन तब से अब तक यह टंकी शोपीस बनी हुई है। टंकी से पानी मिलने के इंतजार में जवान बढ़े हो चले लेकिन टंकी से पानी की बूंद न निकली।

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उत्तर प्रदेश के सहारनपुर में विकासखंड सरसावा की ग्राम पंचायत दभेड़ा कला में ग्रामीणों के लिए पेयजल उपलब्ध कराने के लिए जल निगम द्वारा बनाई गई पानी की टंकी 32 साल बाद भी चालू नहीं हो सकी है। लोग अभी भी टंकी के शुद्ध पेयजल के लिए तरस रहे हैं।

गांव दभेडा कला खादर क्षेत्र में स्थित है, जहां शुद्ध पेयजल की भारी समस्या रहती है। ग्रामीणों को शुद्ध पेयजल आपूर्ति करने के लिए उप्र जल निगम ने गांव में सन् 1987-88 में वाटर टैंक का निर्माण किया था। जल निगम द्वारा उस समय गांव में पाइप लाइन डालकर पानी की पूर्ति भी शुरू कर दी गई थी। उस समय केवल एक साल चलाने के बाद टंकी को बंद कर दिया गया था। वर्ष 1990 के बाद टंकी से गांव में पानी नहीं मिला।
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गांव के प्रधान चौधरी हारून ने बताया कि उन्होंने कई बार जल निगम के अधिकारियों को गांव में बंद पड़ी पानी की टंकी को चालू करने के लिए कहा, लेकिन आश्वासन के अलावा कुछ नहीं मिला।
प्रधान ने बताया कि एक वर्ष पहले जल निगम के जेई तथा ठेकेदार ने गांव में आकर टंकी की मरम्मत की थी तथा गांव के कुछ हिस्से में नई पाइप लाइन डाली थी। उसके बाद से जल निगम द्वारा कोई कार्य नहीं किया गया है।
गांव के उस्मान चौधरी, चौधरी आवेश, मुज्जमिल, अरशद, रफल सिंह, मांगेराम, मुन्नवर चौधरी आदि ने टंकी को फिर से चालू करने की मांग जल निगम सहारनपुर से की है। उधर जेई सौरभ कुमार ने बताया कि वे अवकाश पर हैं। जानकारी करने के बाद भी कुछ बता पाएंगे।