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Rowing competition: असम के अन्यतम बने खिलाड़ियों के लिए प्रेरणास्रोत, इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड में भी दर्ज है नाम

अमर उजाला नेटवर्क, गोरखपुर Published by: शाहरुख खान Updated Sun, 28 May 2023 01:25 PM IST
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सार

असम के अन्यतम राजकुमार खिलाड़ियों के लिए प्रेरणास्रोत बन गए हैं। वह अंतरराष्ट्रीय स्तर के पैरा तैराक सामान्य खिलाड़ियों की प्रतियोगिता में दम दिखा रहे हैं। अन्यतम राजकुमार रोइंग प्रतियोगिता में भाग लेने वाले देश के पहले स्पेशल चाइल्ड है। उनका नाम इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड में भी दर्ज है। कई अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में अन्यतम पदक जीत चुके हैं

Country first special child anyatam rajkumar to participate in rowing competition in gorakhpur ramgarh taal
anyatam rajkumar - फोटो : अमर उजाला
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खेलो इंडिया यूनिवर्सिटी गेम्स के अंतर्गत रामगढ़ताल में आयोजित रोइंग प्रतियोगिता में असम से आए अन्यतम राजकुमार अन्य सभी खिलाड़ियों के लिए प्रेरणाश्रोत बने हुए हैं। खिलाड़ियों के इस महाकुंभ में शारीरिक रूप से विशेष (स्पेशल चाइल्ड) होने के बावजूद अन्यतम जोश से लबरेज होकर सामान्य श्रेणी की दोनों रोइंग स्पर्धाओं (2000 मीटर व 500 मीटर) में टक्कर देने आए हैं।
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अन्यतम राजकुमार दिव्यांगता की मानसिक मंदित (मेंटली रिटायर्ड) श्रेणी में आते हैं। मस्तिष्क का सामान्य विकास न हो पाने के साथ उन्हें बोलने में भी थोड़ी परेशानी होती है। रोइंग के खिलाड़ी अन्यतम तैराकी की अंतरराष्ट्रीय पैरालंपिक स्पर्धाओं में भी शानदार प्रदर्शन किया है। पिता द्विपेन राजकुमार ने बताया कि अन्यतम मानसिक रूप से कमजोर होने के साथ शारिरिक रूप से भी काफी कमजोर थे। शारीरिक कमजोरी दूर करने के लिए छह साल की उम्र में उन्हें तैराकी सिखाने के लिए जब पानी में उतारा गया तब उनकी क्षमता परिवार को समझ में आई।
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द्विपेन के मुताबिक, अन्यतम एक माह से भी कम समय में तैराकी में पारंगत हो गए। फिर क्या था पिता ने स्कूल के साथ-साथ बेटे को तैराकी के क्षेत्र में भी आगे बढ़ाना शुरू कर दिया। राष्ट्रीय स्तर पर कई मेडल जीतने के साथ अन्यतम 2015 में लॉस एंजिलिस में आयोजित वर्ल्ड समर गेम (स्पेशल ओलंपिक) में प्रतिभाग कर भारत के लिए पैरालंपिक तैराकी का पहला स्वर्ण पदक जीत चुके हैं।

तैराकी के साथ अन्यतम राजकुमार का रुझान रोइंग के क्षेत्र में 2016 से हुआ। 50 प्रतिशत बौद्धिक रूप से दिव्यांग होने के बावजूद बहुत कम समय में उन्होंने राष्ट्रीय और राज्य स्तर की प्रतियोगिताओं में भाग लेना प्रारंभ कर दिया। गत वर्ष ऑस्ट्रेलिया में आयोजित एशिया-प्रशांत स्पेशल गेम्स (मूक बधिर) में प्रतिभाग करते हुए अन्यतम ने 500 मीटर सिंगल स्कल रोइंग में गोल्ड मेडल, 2000 मीटर सिंगल स्कल में ब्रॉन्ज और इसी दूरी की मिक्स्ड डबल में ब्रॉन्ज मेडल जीतकर भारत का नाम रोशन किया। 

हमेशा सामान्य नाविकों के साथ अभ्यास करने वाले अन्यतम राजकुमार पुणे में आयोजित नेशनल रोइंग प्रतियोगिता और चंडीगढ़ में आयोजित विश्वविद्यालयीय प्रतियोगिता में टॉप 8 के स्थान बनाकर खेलो इंडिया के लिए क्वालीफाई किया। वह रोइंग प्रतियोगिता में भाग लेने वाले देश के पहले स्पेशल चाइल्ड हैं। इसके लिए उनका नाम इंडिया बुक ऑफ रिकॉर्ड में भी दर्ज हो चुका है।
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