सब्सक्राइब करें

उत्तराखंड में घर पहुंचे योगी को देख भावुक हुए थे मां-बाप, कहा- यहां रहने नहीं, भिक्षा लेने आया हूं

टीपी शाही, गोरखपुर। Published by: विजय जैन Updated Wed, 12 Feb 2020 09:03 AM IST
विज्ञापन
CM yogi adityanath special story yogi adityanath personal life yogi adityanath Mother story
योगी आदित्यनाथ। - फोटो : अमर उजाला।

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ स्पेशल सीरीज का ये तीसरा भाग है। पहले दो भाग में आपने पढ़ा कि कैसे योगी आदित्यनाथ उत्तराखंड स्थित अपने पैतृक गांव पंचूर से गोरखपुर आए। वहीं, उनके पिता ने जब पहली बार बेटे को भगवा वेष में देखा तो उनपर क्या बीती? लौटे तो योगी की मां को बेटे के संन्यासी बनने पर विश्वास नहीं हुआ और वह गोरखपुर जाने को तैयार हो गईं। अब आगे पढ़ें...

Trending Videos
CM yogi adityanath special story yogi adityanath personal life yogi adityanath Mother story
योगी आदित्यनाथ। - फोटो : Yogi Adityanath Life

पहली बार गोरखपुर में गोरखनाथ मंदिर पहुंचीं मां, बेटे योगी को संन्यासी वेष में देखकर फूट-फूट कर रोने लगीं। पीठाधीश्वर ने उन्हें समझाया, कहा कि योगी पर कोई प्रतिबंध नहीं है। वह जब चाहे, आप लोगों के पास जा सकते हैं। आप भी जब चाहे यहां आ सकती हैं, रह सकती हैं। आपका सदैव स्वागत है। मां को देख कर योगी भी भावुक जरूर हुए पर मन के ज्वार को रोके रखा। मंदिर से विदा करते समय उन्होंने मां से बोला, ‘छोटे परिवार से बड़े परिवार में मेरा एक संन्यासी के रूप में मिलन है। उसी रूप में जीवन जी रहा हूं।’

विज्ञापन
विज्ञापन
CM yogi adityanath special story yogi adityanath personal life yogi adityanath Mother story
योगी आदित्यनाथ। - फोटो : अमर उजाला।

चार वर्ष बाद आदित्यनाथ ने संन्यासी के रूप में पंचूर की पहली यात्रा की। वह यात्रा परिवार को देखने के लिए नहीं, अपितु उन्हें एक संन्यासी जीवन का एक महत्वपूर्ण विधान पूरा करना था। वह था अपने माता पिता से संन्यासी के रूप में भिक्षा लेने का। माता पिता ने अपने संन्यासी पुत्र को यथोचित भिक्षा के रूप में चावल, फल, और सिक्के दिए।

इधर आदित्यनाथ का अब नया ठिकाना गोरखनाथ मंदिर हो गया था। वह अपने गुरुदेव की सेवा के साथ ही योग और आध्यात्म की शिक्षा लेने लगे थे। इसी बीच विद्यार्थी परिषद के दो कार्यकर्ता कामेश्वर सिंह व डॉ. प्रदीप राव अवेद्यनाथ से मिलने पहुंचे।

 

CM yogi adityanath special story yogi adityanath personal life yogi adityanath Mother story
योगी आदित्यनाथ। - फोटो : अमर उजाला।

उन लोगों ने बताया कि उनको विद्यार्थी परिषद के कोटद्वार शाखा के एक कार्यकर्ता रामस्नेही ने बताया कि अपना एक कार्यकर्ता गोरखनाथ मंदिर कुछ अध्ययन के लिए गया है। उनका सहयोग करने को कहा था, क्योंकि वह इस शहर के लिए नए हैं। उनके साथ ही अन्य लोग उनसे मिलने लगे।

विभिन्न विषयों पर संवाद होने के साथ ही बैडमिंटन खेलने लगे। इस बीच योगी बनाने की प्रक्रिया शुरू हो गई थी। नाथ पंथ की दीक्षा के लिए उन्हें तैयार किया जा रहा था। यह बात और थी कि छात्र जीवन से ही अनुशासित दिनचर्या का पालन करने की वजह से उनके लिए साधाना बहुत कठिन नहीं थी।

विज्ञापन
CM yogi adityanath special story yogi adityanath personal life yogi adityanath Mother story
योगी आदित्यनाथ। - फोटो : अमर उजाला।
संन्यासी जीवन में प्रवेश से पूर्व व्यक्ति को अपना अंतिम संस्कार करना पड़ता है। यह पूर्व जीवन से मुक्ति और नए जीवन का प्रतीक होता है। इसी लिए योगी राख का प्रयोग करते हैं। यह राख दुनिया के लिए मृत्य का प्रतीक होती है। राख श्मशान का आधार होती है, यह संकेत देती है कि शरीर को अंतत:राख में बदल जाना है। इसका लक्षण है कि योगी ने सांसारिकता का त्याग कर दिया है।

14 जनवरी 1994 को उन्हें दीक्षा देकर तथा योगी की सभी क्रियाओं को पूरा कर वह योगी बन गए। वह योगी आदित्यनाथ बन गए। उनके वस्त्र आजीवन भगवा रहने वाले थे। भक्त वहीं से उन्हें छोटे महाराज की उपाधि देकर संबोधित करने लगे।

साभार- यह कहानी योगी आदित्यनाथ की जीवन यात्रा पर लिखी किताब योद्धा योगी से लिया गया है, इसे प्रवीण कुमार ने लिखा है।

इसे भी पढ़ें....
कॉलेज में ऐसे दिखते थे मुख्यमंत्री योगी, हिंदुत्व के लगाव में घर छोड़ा, मां ने सोचा-नौकरी करने गए

गोरखपुर में योगी को भगवा वेष में देख चौंक गए थे पिता, बोले- ये क्या हाल बनाया है, घर चलो
विज्ञापन
अगली फोटो गैलरी देखें

रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|
Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

विज्ञापन
विज्ञापन

एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें

Next Article

एप में पढ़ें

Followed