मेरठ का कबाड़ी बाजार या रेड लाइट एरिया एक ऐसी जगह जिसके नाम मात्र से ही आज भी लोग मुहं फेरने लगते हैं। एक ऐसी जगह जहां न जाने कितनी ही मासूम लड़कियों की जिंदगियां देह व्यापार के काले दलदल में धकेल दी जाती थी। तंग कमरों में बंद ये जिंदगियां गुमनाम अंधेरे के बीच कब खत्म हो जाती हैं पता भी नहीं चलता। हाईकोर्ट के आदेश पर तीन साल पहले इस क्षेत्र में चल रहे कोठों पर पुलिस ने ताला जड़ दिया। यहां अब देहव्यापार भले ही न होता हो लेकिन इलाके में बंद पड़े इन भवनों में कई ऐसी कहानियां कैद हैं जो इस जगह की जिल्लत भरी जिंदगी की दास्ताना बयान करती हैं। पुलिस ने जब-जब यहां कार्रवाई की तब ही वेश्यावृति का घिनौना सच सामने आता।
दूसरे प्रदेशों से लड़कियों का अपहरण कर या खरीदकर उन्हें देह व्यापार के कारोबार में झोंक दिया जाता था। पुलिस यहां से कई ऐसी ही लड़कियों को रेस्क्यू भी कराया। वहीं कई ऐसे किस्से भी सामने आए जब देह व्यापार में लिप्त महिलाओं की आपबीती सुन हर कोई हैरान रह गया। आइए नजर डालते हैं ऐसी ही कहानियों पर जिनकी हकीकत किसी को भी रुला सकती है: -
गांव की सबीना को कोठे पर देख हैरान रह गया था युवक
पश्चिमी बंगाल के 24 परगना जिले के एक गांव की रहने वाली सबीना किसी काम से अपने घर से निकली थी। रास्ते से उसका कार सवार लोगों ने अपहरण कर लिया। नशीला पदार्थ देकर तीन दिन तक कोलकाता में एक मकान में रखा गया, वहां उसके जैसी कई अन्य युवतियां भी थी। उसके बाद उसे मेरठ में कबाड़ी बाजार के एक कोठे पर बेच दिया। सबीना को यातनाएं देकर जबरन देह व्यापार में धकेल दिया गया।
सबीना ने कभी नहीं सोचा था कि उसे ये दिन भी देखने पड़ेंगे। सबीना ने एक दिन कोठे की छत से अपने गांव के किसी परिचित युवक को देखा तो उसकी जान में जान आ गई। युवक की नजरें भी सबीना को पहचान गईं और वह उसे वहां देखकर हैरान रह गया। युवक मुजफ्फरनगर में एक सराफ के यहां काम करता था। यह युवक सराफा बाजार जाते समय कबाड़ी बाजार से अक्सर गुजरता था। सबीना ने उसे पहचान लिया। इससे पहले कि युवक कुछ करता, सबीना ने किसी तरह हिम्मत कर एक पर्ची नीचे फेंक दी। जिसे युवक ने उठा लिया।
ऐसे नर्क से निकली सबीना की जिंदगी
युवक ने पर्ची उठाकर खोली तो उसमें लिखा था कि भैया आज रात 8:00 बजे ग्राहक बनकर कोठे पर आना। युवक ठीक आठ बजे कोठे पर ग्राहक बनकर पहुंचा तो वहां उसकी मुलाकात सबीना से हो गई। इस दौरान सबीना ने भाई कहकर युवक को सभी बातें बता दी। साथ ही कहा कि भैया कुछ भी करो, लेकिन मुझे इस नर्क से छुटकारा दिला दो।
युवक अगले दिन आठ बजे रात में उसी कोठे पर फिर से ग्राहक बनकर पहुंचा, वहां सबीना ने फिर उसे दर्द भरी दास्तान सुनाई और कहा कि भैया कुछ भी हो मुझे बस यहां से बंधनमुक्त करा दो। युवक ने सबीना की आपबीती अपने मोबाइल फोन में रिकॉर्ड कर ली। इसके बाद युवक स्थानीय दुकानदार के नौकर को लेकर एंटी हृयूमन ट्रैफिकिंग यूनिट थाने पहुंचा मामले की जानकारी दी, जिसके बाद सबीना को वहां से छुड़ाया गया। 20 साल की सबीना ने कबाड़ी बाजार की नर्क भरी जिंदगी से छुटकारा पाने की आस ही छोड़ दी थी। लेकिन उसकी सूझबूझ और एक युवक के हौसले ने उसे इस जिल्लत भरी जिंदगी से छुटकारा दिला दिया।
नौकरी का झांसा देकर तीन बार बेची गई युवती
बांग्लादेश के बघरा जिले की निवासी 19 वर्षीय युवती की शादी हो चुकी थी। उसका एक साल का बेटा भी था। करीब डेढ़ साल पहले युवती अपनी सहेली के साथ घूमने निकली थी। अंधेरा होने के चलते वह तारापुरा बॉर्डर के पास रास्ता भटक गई। यहां एक दलाल युवती को घर पहुंचाने की बात कहकर मुंबई ले गया। उसने युवती को मुंबई में बेच दिया।
मुंबई में युवती से वेश्यावृति कराई गई जिसके बाद उसे दिल्ली के कोठे पर बेचा गया। यहां से दलाल ने उसे मेरठ में कबाड़ी बाजार में एक कोठे पर बेच दिया। इस दौरान युवती को तीन बार बेचा और खरीदा गया। तब से कबाड़ी बाजार स्थित गंगा थापा के कोठे पर उससे देह व्यापार कराया जा रहा था।
यह भी पढ़ें: मेरठ: देह व्यापार के लिए बदनाम कबाड़ी बाजार की बदलेगी सूरत, हाईकोर्ट ने बंद कराए थे 58 कोठे
एक दिन एक ग्राहक को उसने अपनी आपबीत सुनाई और बंधनमुक्त कराने की बात कही। ग्राहक ने फिर से आने का वादा कर उसे कोठे से छुड़ाने का आश्वासन दिया। कुछ दिन बाद युवक ज्यादा रकम देकर युवती को बाहर घुमाने की बात कहकर कोठे से बाहर ले आया। उसने युवती को थाने लेजाकर सारा माजरा पुलिस को समझा दिया।
तत्कालीन एसपी क्राइम डॉ. बीपी अशोक के अनुसार युवती को सीधे थाना एएचटीयू ले जाया गया था। जहां से उसे उसके परिजनों को सौंप दिया। एसपी क्राइम ने यह भी बताया कि युवती को इस बात से भी अनजान रखा गया था कि वह हिंदुस्तान के किसी कोठे पर है।