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फर्जी डिग्रियों का रेट: BA-BSC के 25 हजार और MBA के लिए 1.80 लाख...एक महीने में इन छह विवि की डिग्री तैयार की

अमर उजाला न्यूज नेटवर्क, आगरा Published by: धीरेन्द्र सिंह Updated Fri, 21 Mar 2025 11:39 AM IST
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सार

Fake Marksheet: फर्जी डिग्रियां तैयार करने वाले धनेश मिश्रा को एसटीएफ ने गिरफ्तार कर लिया है। उसकी छह से अधिक विश्वविद्यालयों में सांठगांठ है। किसी भी कोर्स की डिग्री बनाने के लिए उसे महज एक महीने का समय लगता था।

fake degrees Rate 25 thousand for BA-BSc and 1.80 lakh for MBA Degrees of six universities ready in one month
एसटीएफ की हिरासत में आरोपी - फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
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Fake Degree In Agra: आगरा एसटीएफ की गिरफ्त में आया धनेश मिश्रा एलएलबी पास है। वह 2 साल से अजीत नगर में दुकान से 4 ओपन विश्वविद्यालयों में प्रवेश की प्रक्रिया पूरी करा रहा था। इसकी आड़ में दिल्ली, झारखंड, बिहार, उत्तराखंड, राजस्थान, हिमाचल प्रदेश, मध्य प्रदेश आदि राज्यों में स्थित विश्वविद्यालयों की फर्जी अंकतालिकाएं और डिग्री बनाकर दे देता था। इसके लिए संबंधित विश्वविद्यालय के बाबुओं से सेटिंग रखता था। वह जिन विश्वविद्यालयों में प्रवेश दिलाता था, उनके पढ़ने वाले विद्यार्थियों की कॉपियां भी कर्मचारी युवतियों से खुद ही लिखवाता था। एक महीने में अंकतालिका थमा दी जाती थी। अब एसटीएफ के रडार पर फर्जी मार्कशीट और डिग्रियां बनवाने वाले लोग हैं।

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एसटीएफ के निरीक्षक हुकुम सिंह ने बताया कि धनेश मिश्रा ने 12 हजार रुपये महीने पर एक घर लिया था। यह तीन मंजिला है। इसमें भूतल पर दो कमरों में दुकान संचालित थी। जिसमें 4 युवतियां काम करती थीं। वह छात्रों से बात करती थीं। सुभारती यूनिवर्सिटी, मंगलायतन यूनिवर्सिटी, सिक्किम ओपन बोर्ड और सुरेश ज्ञान विहार यूनिवर्सिटी में प्रवेश दिलवाया जाता था। प्रवेश लेने वालों को परीक्षा में भी सुविधा दिलाने का वादा किया जाता था। अतिरिक्त रकम देने पर युवतियां कॉपियां लिख देती थीं। इसके बाद इन्हें संबंधित विश्वविद्यालय में भेज दिया जाता था।

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यूनिवर्सिटी से भी फर्जीवाड़े की आशंका
जुलाई में प्रवेश लेने वालों को 1 महीने बाद ही अगस्त में अंकतालिका तक दे दी जाती थी। ऐसे में यूनिवर्सिटी में भी फर्जीवाड़े की आशंका है। इस बारे में टीम जानकारी जुटा रही है। काम करने वाली युवतियों को 5 से 6 हजार रुपये प्रतिमाह मिला करते थे। एसटीएफ अब इन कर्मचारियों से भी पूछताछ करेगी। एसटीएफ ने आरोपी से जो कॉपियां बरामद की हैं, उनमें लिखावट एक जैसी है।

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ये था रेट
- एमबीए के लिए 1.80 लाख से 2.40 लाख रुपये तक।
- बीए-बीकाॅम-बीएससी के लिए 25 हजार से 40 हजार रुपये तक।

 

नाैकरी वाले युवा अधिक
एसटीएफ के मुताबिक, धनेश के पास ऐसे युवा आते थे, जो किसी कारणवश पढ़ाई पूरी नहीं कर पाते थे। अच्छी नाैकरी पाने के लिए बिना परीक्षा दिए अंकतालिका देने के लिए बात करते थे। इस पर तय रकम ले ली जाती थी। अंकतालिका मिलने के बाद आम नाैकरी में सत्यापन की भी आवश्यकता नहीं पड़ती थी। इससे ही फर्जीवाड़े का मामला सामने नहीं आ पाता था।

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