स्पा सेंटर की आड़ में गंदा काम: चार युवतियों सहित छह दबोचे, 60 से अधिक ग्राहकों के नंबरों की मिली सूची
रीब आधा घंटे तक टीम ने सेंटर की व अंदर बने कमरों की तलाशी ली। वहां काफी कुछ आपत्तिजनक वस्तुएं मिलीं। इलाके के लोगों का कहना है कि यह सब सियासी संरक्षण में चल रहा था। यह सेंटर गाजियाबाद का सचिन अपने एक साथी जयदीप की पार्टनरशिप में चला रहा था।
विस्तार
अलीगढ़ महानगर के रामघाट रोड पीएसी मॉल के सामने वाले कांप्लेक्स में स्पा-मसाज सेंटर की आड़ में जिस्मफरोशी का धंधा चलते पकड़ा गया। 3 दिसंबर देर शाम पुलिस-प्रशासनिक अधिकारियों की संयुक्त टीम ने कार्रवाई करते हुए यहां से 4 युवतियों सहित छह लोगों को पकड़ा है। टीम ने जब कमरों की तलाशी ली तो वहां मिले साक्ष्यों ने चल रहे इस धंधे की गवाही दी। कई आपत्तिजनक सामग्री बरामद हुई हैं। पुलिस सभी को लेकर थाने पहुंच गई। जहां देर रात तक पूछताछ की जा रही थी।
पुलिस को स्थानीय लोगों के जरिये यह शिकायत मिली कि माल के सामने एकता नगर में दूसरे माले पर गंगा स्पा सेंटर के नाम से स्पा-मसाज सेंटर व सैलून चल रहा है। मगर उसकी आड़ में वहां जिस्मफरोशी भी कराई जा रही है। इस शिकायत पर देर शाम एसीएम दिग्विजय सिंह, सीओ तृतीय सर्वम सिंह, क्वार्सी एसएचओ नरेंद्र शर्मा टीम के साथ मॉल पर पहुंच गए। टीम ने इसके लिए पहले से जानकारी जुटाई थी कि शाम को वहां कुछ ग्राहक व लड़कियां भी मिल सकती हैं। टीम के पहुंचने पर अंदर कुछ अफरा-तफरी मची।
जब पूरे सेंटर की तलाशी ली गई तो उसमें एक रिसेप्शनिस्ट युवती सहित चार युवतियां मिलीं, जबकि एक पार्टनर संचालक गाजियाबाद कवि नगर का सचिन व उसके साथ एक अन्य युवक भी पकड़ा गया। करीब आधा घंटे तक टीम ने सेंटर की व अंदर बने कमरों की तलाशी ली। वहां काफी कुछ आपत्तिजनक वस्तुएं मिलीं। बाद में टीम सेंटर को बंद कर सभी को थाने ले आई। जहां देर रात तक उनसे पूछताछ होती रही। सीओ के अनुसार इलाके के लोगों ने बताया कि जब से सेंटर यहां खुला। तब से यहां यह सब चल रहा था। जब लोग परेशान हुए। तब पुलिस को सूचना दी गई।
सीओ तृतीय सर्वम सिंह के अनुसार देर रात तक चली पूछताछ में उजागर हुआ कि दो माह पहले तक यह सेंटर मॉल के अंदर चल रहा था। मगर दो माह पहले वहां से खाली होकर यह इस मार्केट में आया। एक बड़े हॉल में सजाए गए इस सेंटर में बाहर की ओर रिसेप्शन व वेटिंग एरिया बना था। इसके पीछे के हिस्से में चार छोटे छोटे कमरे बने मिले। जिनमें एक एक सिंगल बेड पड़े थे। इसके अलावा वहां स्पा, मसाज या सलून चलाने का कोई सामान नहीं मिला। इसमें आने वाले ग्राहक की 500 रुपये एंट्री फीस तय थी। वह उन्हें रिसेप्शन पर ही जमा करानी होती थी। इसके बाद अंदर कमरे में जब वे जाते तो वहां स्पेशल सर्विस के नाम पर रकम वसूली जाती थी। यहां दिन में जरूर कुछ ग्राहकों की कमी रहती। मगर दोपहर बाद यहां वेटिंग में नंबर आता था।
रामघाट रोड पर गंगा स्पा सेंटर की आड़ में जिस्मफरोशी का धंधा चलते पाया गया है। वहां से चार लड़कियां, पार्टनर संचालक सहित दो युवक पकड़े गए हैं। साथ में जिस्मफरोशी के धंधे के साक्ष्य भी मिले हैं। ग्राहकों के नंबर मिले हैं। मामले में पूछताछ के आधार पर मुकदमा आदि कार्रवाई की जाएगी।-सर्वम सिंह, सीओ तृतीय
60 से अधिक ग्राहकों के नंबरों की सूची मिली
सीओ के अनुसार इस कार्रवाई में रिसेप्शन पर मिली युवती शहर के जमालपुर इलाके की है। उसके पास से 60 से अधिक ग्राहकों के मोबाइल नंबरों की सूची मिली है। उसका काम ग्राहक की कॉल आने पर उन्हें अपाइंटमेंट देना या फिर समय खाली होने पर खुद अपनी ओर से ग्राहक को फोन कर समय तय करना था।
एक माह के लिए दिल्ली से आईं तीन युवतियां
सीओ के अनुसार सेंटर में रिसेप्शनिस्ट के अलावा जो तीन युवतियां पकड़ी गई हैं। वे तीनों दिल्ली के साकेत व उससे सटे इलाके की हैं। तीनों मंगलवार को ही यहां 15-15 हजार रुपये प्रतिमाह के वेतन पर एक माह के लिए आई हैं। उन्हें इस मार्केट के बगल में ही किराये पर एक कमरा लेकर ठहरवाया गया है। वेतन के अलावा उन्हें रहने व खाने की सुविधा भी संचालक द्वारा ही दी जाती है। इससे पहले दो माह में युवतियों के दो अन्य ग्रुप आए थे। उनका एक माह पूरा होने पर उनके बाद अब यह तीसरा ग्रुप आया है। तीनों द्वारा बताए गए पते आदि के विषय में भी जानकारी जुटाई जा रही है। हालांकि तीनों में से एक युवती ने खुद यहां अपने किसी प्रेमी से मिलने आने की बात स्वीकारी। मगर इसकी पुष्टि नहीं हो सकी।
एक पार्टनर फरार, पकड़ा गया लाता था लड़कियां
सीओ के अनुसार यह सेंटर गाजियाबाद का सचिन अपने एक साथी जयदीप की पार्टनरशिप में चला रहा था। यह बात खुद सचिन ने स्वीकारी है। सचिन का काम दिल्ली से लड़कियां लाना था, जबकि जयदीप के नाम से हॉल के किराये का पंजीकरण कराया गया था। स्थानीय होने के नाते अपने संपर्कों से वह ग्राहक भी बुलाता था। इस कार्रवाई के बाद से पार्टनर फरार है। उसका मोबाइल भी बंद हो गया है।
संचालकों पर सियासी संरक्षण का भी संदेह
हालांकि इस कार्रवाई के बाद किसी के द्वारा कोई सिफारिश पुलिस तक पहुंचने की जानकारी नहीं मिली। मगर इलाके के लोगों का कहना है कि यह सब सियासी संरक्षण में चल रहा था। स्थानीय पार्टनर जयदीप का राजनीतिक लोगों में खासा संपर्क है। उसी प्रभाव में वह यहां इसे चलवा रहा था। उसके प्रभाव के चलते ही स्थानीय लोग विरोध नहीं कर पा रहे थे। पुलिस को भी गोपनीय सूचना दी गई। पुलिस जब आई तो किसी ने खुलकर पुलिस को कोई जानकारी नहीं दी।