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Amethi News: ध्रुव चरित्र से युवाओं को लेनी चाहिए शिक्षा
संवाद न्यूज एजेंसी, अमेठी
Updated Wed, 10 Dec 2025 01:04 AM IST
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जामों। श्रीमद्भागवत कथा केवल धार्मिक ग्रंथ ही नहीं बल्कि मनुष्य जीवन को दिव्यता और मुक्ति की ओर ले जाना वाला आध्यात्मिक उत्सव है। ध्रुव चरित्र से युवाओं को उनकी भक्ति, दृढ़ निश्चय और भगवान के प्रति अटूट विश्वास की शिक्षा लेनी चाहिए। ये बातें भीखीपुर गांव में श्रीमद्भागवत कथा के तीसरे दिन मंगलवार को प्रवाचक संत मुकेश आनंद महाराज ने कहीं।
प्रवाचक ने बताया कि अल्प आयु में जिस तरह ध्रुव ने कड़ी तपस्या करके भगवान विष्णु को प्रसन्न कर लिया। इनका दृढ़ निश्चय और एकाग्रता ही लक्ष्य प्राप्त करने का कारण बन गया। प्रवाचक ने बताया कि ईश्वर की भक्ति मनुष्य के जीवन के लिए उत्तम साधन है। घमंड ही मनुष्य को इधर-उधर भटकाव की तरफ बढ़ाता रहता है। मानव को अपने शरीर और धन पर घमंड नहीं करना चाहिए। अपने धन को धर्म व सेवाभाव में लगाना चाहिए, जिससे आत्मसंतुष्टि मिलने के साथ समाज का कल्याण संभव है। इस दौरान मुख्य यजमान सुरेंद्र कुमार सिंह, उनकी पत्नी उमा सिंह, रामबरन सिंह, नीरज कुमार सिंह, अनिल कुमार सिंह, विपिन सिंह, राहुल सिंह आदि मौजूद रहे।
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प्रवाचक ने बताया कि अल्प आयु में जिस तरह ध्रुव ने कड़ी तपस्या करके भगवान विष्णु को प्रसन्न कर लिया। इनका दृढ़ निश्चय और एकाग्रता ही लक्ष्य प्राप्त करने का कारण बन गया। प्रवाचक ने बताया कि ईश्वर की भक्ति मनुष्य के जीवन के लिए उत्तम साधन है। घमंड ही मनुष्य को इधर-उधर भटकाव की तरफ बढ़ाता रहता है। मानव को अपने शरीर और धन पर घमंड नहीं करना चाहिए। अपने धन को धर्म व सेवाभाव में लगाना चाहिए, जिससे आत्मसंतुष्टि मिलने के साथ समाज का कल्याण संभव है। इस दौरान मुख्य यजमान सुरेंद्र कुमार सिंह, उनकी पत्नी उमा सिंह, रामबरन सिंह, नीरज कुमार सिंह, अनिल कुमार सिंह, विपिन सिंह, राहुल सिंह आदि मौजूद रहे।
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