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Kushinagar News: जंगली जानवर का सुराग नहीं, दहशत में गांव वाले
संवाद न्यूज एजेंसी, कुशीनगर
Updated Wed, 31 Dec 2025 02:27 AM IST
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पकड़ियार बाजार। नेबुआ नौरंगिया थाना क्षेत्र के सिरसिया बुजुर्ग गांव में महिला पर हमले के पांच दिन बीत जाने के बाद भी जंगली जानवर नहीं पकड़ा गया है। इसके चलते गांव वाले दहशत में हैं। लोगों ने अनहोनी की आशंका जताते हुए वन विभाग से हिंसक जानवर को पकड़ने की मांग किया है। लोग खेतों की ओर जाने और मवेशियों को चराने से बच रहे हैं। दिन ढलते ही गांव में सन्नाटा पसर जा रहा है और ग्रामीण अपने घरों में कैद हो जा रहे हैं।
सिरसिया बुजुर्ग के कोहड़ा टोले में बीते बृहस्पतिवार की रात घर में सो रही लीलावती देवी पर एक जंगली जानवर ने हमला कर गंभीर रूप से घायल कर दिया था। उनका इलाज अभी चल रहा है। घटना के बाद से वनकर्मियों की गांव में आवाजाही तो बनी हुई है, लेकिन ग्रामीणों का आरोप है कि यह महज रात में पहरा देने तक सीमित है। ग्रामीणों का कहना है कि घटनास्थल और आसपास मिले पदचिन्हों की दिशा में गंभीरता से जांच नहीं की गई।
शाम के समय कुछ वनकर्मी डंडा लेकर पहुंचते हैं, चुनिंदा जगहों पर खड़े होकर फोटो खिंचवाते हैं और लौट जाते हैं। यदि दिन के समय खेतों और झाड़ियों में सघन तलाशी अभियान चलाया गया होता तो शायद जानवर की मौजूदगी का सही सुराग मिल जाता। डर से कृषि कार्य प्रभावित हो रहा है। किसान खेतों में जाने से कतरा रहे हैं, मवेशियों को चारागाह नहीं ले जाया जा रहा और पालतू जानवरों को अधिकतर समय घरों में ही बांधकर रखा जा रहा है।
ग्रामीणों ने वन विभाग से प्रभावी तलाशी अभियान चलाकर जल्द से जल्द हिंसक जानवर को पकड़ने की मांग की है, ताकि क्षेत्र में भय का माहौल खत्म हो सके।
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सिरसिया बुजुर्ग के कोहड़ा टोले में बीते बृहस्पतिवार की रात घर में सो रही लीलावती देवी पर एक जंगली जानवर ने हमला कर गंभीर रूप से घायल कर दिया था। उनका इलाज अभी चल रहा है। घटना के बाद से वनकर्मियों की गांव में आवाजाही तो बनी हुई है, लेकिन ग्रामीणों का आरोप है कि यह महज रात में पहरा देने तक सीमित है। ग्रामीणों का कहना है कि घटनास्थल और आसपास मिले पदचिन्हों की दिशा में गंभीरता से जांच नहीं की गई।
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शाम के समय कुछ वनकर्मी डंडा लेकर पहुंचते हैं, चुनिंदा जगहों पर खड़े होकर फोटो खिंचवाते हैं और लौट जाते हैं। यदि दिन के समय खेतों और झाड़ियों में सघन तलाशी अभियान चलाया गया होता तो शायद जानवर की मौजूदगी का सही सुराग मिल जाता। डर से कृषि कार्य प्रभावित हो रहा है। किसान खेतों में जाने से कतरा रहे हैं, मवेशियों को चारागाह नहीं ले जाया जा रहा और पालतू जानवरों को अधिकतर समय घरों में ही बांधकर रखा जा रहा है।
ग्रामीणों ने वन विभाग से प्रभावी तलाशी अभियान चलाकर जल्द से जल्द हिंसक जानवर को पकड़ने की मांग की है, ताकि क्षेत्र में भय का माहौल खत्म हो सके।
