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गुजरात में Suzuki e-VITARA EV Plant का शुभारंभ
वीडियो डेस्क अमर उजाला डॉट कॉम Published by: आदर्श Updated Tue, 26 Aug 2025 03:42 PM IST
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को अपने गृह राज्य गुजरात में भारत की ग्रीन एनर्जी क्रांति का एक नया अध्याय लिख दिया। हंसलपुर स्थित Suzuki Motor प्लांट से प्रधानमंत्री ने Suzuki की पहली ग्लोबल स्ट्रैटेजिक बैटरी इलेक्ट्रिक व्हीकल (BEV) e-VITARA को हरी झंडी दिखाई। यह कार पूरी तरह से भारत में निर्मित होगी और 100 से अधिक देशों, जिनमें यूरोप और जापान जैसे विकसित बाजार भी शामिल हैं, को एक्सपोर्ट की जाएगी।
इस ऐतिहासिक पहल के साथ भारत अब Suzuki का वैश्विक इलेक्ट्रिक वाहन निर्माण केंद्र बन गया है। यह न सिर्फ भारत के ऑटोमोबाइल उद्योग के लिए, बल्कि ग्रीन मोबिलिटी और आत्मनिर्भर भारत मिशन के लिए भी एक बड़ी छलांग है।
e-VITARA का शुभारंभ सिर्फ एक वाहन के लॉन्च से ज्यादा है। यह भारत के उस आत्मविश्वास का प्रतीक है जो अब दुनिया के उन्नत बाजारों में अपनी पहचान बनाने के लिए तैयार है। प्रधानमंत्री मोदी ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में कहा –
“आज का दिन भारत की आत्मनिर्भरता और ग्रीन मोबिलिटी का केंद्र बनने के अभियान के लिए बेहद खास है। Hansalpur में कार्यक्रम के दौरान e-VITARA को फ्लैग ऑफ किया गया। यह बैटरी इलेक्ट्रिक वाहन भारत में बना है और 100 से अधिक देशों में जाएगा। बैटरी इकोसिस्टम में भी बड़ी बढ़त मिली है, गुजरात में हाइब्रिड बैटरी इलेक्ट्रोड का उत्पादन शुरू हो गया है।”
यह पहल भारत को न सिर्फ क्लीन एनर्जी में अग्रणी बनाएगी बल्कि देश की मैन्युफैक्चरिंग क्षमता और एक्सपोर्ट पावर को भी नई ऊंचाई देगी।
प्रधानमंत्री ने न सिर्फ e-VITARA को हरी झंडी दिखाई, बल्कि भारत की बैटरी इकोसिस्टम को मजबूती देने वाली एक और महत्वपूर्ण परियोजना का शुभारंभ किया। हंसलपुर में ही स्थित TDS लिथियम-आयन बैटरी प्लांट में अब हाइब्रिड बैटरी इलेक्ट्रोड का स्थानीय उत्पादन शुरू हो गया है।
यह प्लांट Toshiba, Denso और Suzuki के बीच संयुक्त उद्यम है और इसका उद्देश्य भारत को बैटरी निर्माण में आत्मनिर्भर बनाना है। इस पहल से यह सुनिश्चित होगा कि अब 80% से अधिक बैटरी वैल्यू भारत में ही निर्मित होगी। इससे न केवल आयात पर निर्भरता कम होगी, बल्कि घरेलू उद्योगों को भी बड़ा प्रोत्साहन मिलेगा।
विशेषज्ञों के अनुसार, e-VITARA का उत्पादन और बैटरी निर्माण के लोकलाइजेशन से भारत में ग्रीन एनर्जी मिशन को गति मिलेगी, कार्बन उत्सर्जन कम होगा और लाखों लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे।
• ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री को EV तकनीक में बढ़त मिलेगी।
• स्टार्टअप्स और MSME सेक्टर को नए अवसर मिलेंगे।
• फॉसिल फ्यूल पर निर्भरता घटेगी और स्वच्छ ऊर्जा का उपयोग बढ़ेगा।
यह कदम भारत को EV मैन्युफैक्चरिंग हब बनाने की दिशा में एक निर्णायक मोड़ है।
इससे पहले सोमवार को पीएम मोदी ने अहमदाबाद के खोडलधाम ग्राउंड, निकोल से ₹5,400 करोड़ की परियोजनाओं का शुभारंभ किया और जनसभा को संबोधित किया। प्रधानमंत्री ने लोगों से अपील की –
“त्योहारों के सीजन में ‘वोकल फॉर लोकल’ बनें और स्वदेशी सामान खरीदें।”
उन्होंने यह भी संकेत दिया कि GST सुधारों की घोषणा दिवाली से पहले हो सकती है, जिससे लोगों और कारोबारियों को बड़ी राहत मिलेगी।
क्यों है यह कदम महत्वपूर्ण?
e-VITARA का शुभारंभ और बैटरी इलेक्ट्रोड का स्थानीय उत्पादन भारत के लिए कई मायनों में अहम है:
ग्लोबल लीडरशिप: भारत अब Suzuki के लिए EV उत्पादन का हब बन गया है।
एक्सपोर्ट पावर: 100 से अधिक देशों, जिनमें यूरोप और जापान शामिल हैं, को Made-in-India कारों का निर्यात होगा।
स्वच्छ ऊर्जा: ग्रीन मोबिलिटी को गति मिलेगी और प्रदूषण में कमी आएगी।
रोजगार और निवेश: ऑटोमोबाइल और बैटरी सेक्टर में बड़े पैमाने पर निवेश और रोजगार सृजन होगा।
आत्मनिर्भर भारत: बैटरी निर्माण में 80% वैल्यू का घरेलू उत्पादन भारत की आत्मनिर्भरता को मजबूत करेगा।
भारत सरकार 2030 तक देश में इलेक्ट्रिक वाहनों की हिस्सेदारी बढ़ाने का लक्ष्य लेकर चल रही है। विशेषज्ञों का मानना है कि हंसलपुर की ये परियोजनाएं भारत को न केवल एशिया, बल्कि दुनिया के प्रमुख EV हब के रूप में स्थापित कर सकती हैं। इसके अलावा, यह पहल भारत की नेट जीरो उत्सर्जन प्रतिबद्धता को पूरा करने में भी अहम भूमिका निभाएगी।
प्रधानमंत्री मोदी का यह दो दिवसीय गुजरात दौरा सिर्फ परियोजनाओं के उद्घाटन तक सीमित नहीं रहा। यह भारत के ऑटोमोबाइल सेक्टर, ग्रीन एनर्जी मिशन और आत्मनिर्भरता की दिशा में एक ऐतिहासिक मील का पत्थर है। Suzuki e-VITARA का उत्पादन और बैटरी इकोसिस्टम में आत्मनिर्भरता यह साबित करता है कि भारत अब सिर्फ बाजार नहीं, बल्कि ग्लोबल इनोवेशन सेंटर बनने की राह पर है।
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