मध्यप्रदेश के राजगढ़ जिले के अंतर्गत आने वाले नरसिंहगढ़ विकास खंड के पिपल्या रसोड़ा संकुल केंद्र के अंतर्गत आने वाले पानिया गांव में शासकीय प्राथमिक स्कूल में पदस्थ महिला शिक्षिका हेमलता गुर्जर इस वक्त जिले में चर्चा का विषय बनी हुई हैं। जो अन्य शासकीय स्कूल में पढ़ाने वाले शिक्षकों के लिए भी एक बेहतरीन उदाहरण हैं। दरअसल, हेमलता के द्वारा पिछले तीन से चार वर्षों से शासकीय शिक्षिका होने के साथ-साथ मानवता का भी धर्म निभाया जा रहा है, जिसमें वे जिस स्कूल में बच्चों को पढ़ाती हैं, वहां के बच्चों को वे ठंड के मौसम में ठंड से बचने के लिए एक जैसे स्वेटर व अन्य जरूरतों के सामान दिलाती हुई आ रही हैं।
हाल ही में हेमलता गुर्जर ने अपने स्कूल में कक्षा छह से 10वीं में अध्ययन करने वाले लगभग 143 बच्चों को अपने वेतन से खर्च करके एक जैसी जर्सी दिलाई है, ताकि बच्चे ठंड से भी बचे और एक प्रॉपर यूनिफॉर्म में नजर आए। उनकी इस पहल की उनके स्टॉफ के साथ-साथ ग्रामीण भी सराहना करते हैं। शिक्षिका हेमलता गुर्जर बताती हैं कि उन्हें ये प्रेरणा एक सामाजिक संस्था से मिली है। एक बार उनके स्कूल में संस्था ने कुछ वितरित किया था, तभी से मुझमें इच्छा थी कि मैं भी अपने स्कूल के बच्चों के लिए कुछ करूं और बस जबसे ये करती आ रही हूं।
जनपद पंचायत सदस्य हरीश वर्मा ने बताया कि हेमलता दीदी एक दो नहीं, बल्कि पिछले चार वर्षों से बच्चों निशुल्क अपने वेतन से ही स्वेटर और अन्य सामग्री उपलब्ध कराने का कार्य कर रही हैं। ऐसा शिक्षक मैंने पहले कभी नहीं देखा और ये बच्चों से काफी स्नेह और प्रेम भी रखती हैं। संकुल प्राचार्य राधेश्याम विजय वर्गीय ने कहा कि ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों को खासकर इन चीजों की जरूरत होती है। मैडम की ये अच्छी पहल है, जिससे अन्य लोगों को भी प्रेरणा लेना चाहिए। वहीं, लसूडलिया जागीर के स्कूल प्राचार्य मनीष शर्मा ने कहा कि मैडम ये पिछले तीन से चार साल से करती हुई आ रही हैं। इससे हमें भी प्रेरणा मिली है और आने वाले समय में हम भी कुछ करके दिखाएंगे।
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