भाजपा के ही एक नेता के खिलाफ भारी राजनीतिक विवाद खड़ा हो गया है। खबर के अनुसार भाजपा विधायक सुरेंद्र सिंह गहरवार ने चित्रकूट भाजपा कार्यालय की जमीन पर बुलडोजर चलवा दिया, जिससे पार्टी के अंदरूनी संगठनात्मक तनाव सामने आया है।
घटना उस समय की है जब स्थानीय प्रशासन झिरिया स्थित अवैध कब्जों को हटाने की कार्रवाई कर रहा था। कार्रवाई का उद्देश्य सिविल लाइन थाना क्षेत्र के झिरिया शराब दुकान के बगल में अवैध रूप से कब्जाई गई भूमि को हटाकर वैध पक्षकार को कब्जा दिलाना था। न्यायालय के आदेश के तहत इस कार्रवाई को सही ठहराया जा रहा था। पहले सामने की भूमि का विवाद न्यायालय में विचाराधीन था और वहां न्यायालय ने निर्णय लेते हुए अवैध कब्जा हटाने का आदेश पारित किया था।
पहले जमीन के सामने वाले हिस्से पर अवैध कब्जा हटाया गया और वैध पक्षकार को उसी का हक दिलाया गया। इसके बाद पीछे की भूमि जो भाजपा कार्यालय का पुराना हिस्सा थी और जिसका स्वामित्व संगठन के पास था, उसको भी हटाया जा रहा था। इसी दौरान मौके पर पहुंचे भाजपा जिला अध्यक्ष वीरेंद्र गुप्ता ने कार्रवाई को रोकने की मांग की और आपत्ति दर्ज करवाई। उन्होंने कहा कि भाजपा संगठन या उन्हें किसी प्रकार की सूचना नहीं दी गई, जबकि सामने वाले भूखंड के नोटिस और वाद के दौरान केवल मालिक पक्ष को बताया गया था।
जिला अध्यक्ष वीरेंद्र गुप्ता ने कहा कि न्यायालय के आदेश के तहत पहले जमीन का निर्णय सामने आया था, लेकिन उसके बावजूद बिना किसी पूर्व सूचना के विधायक सुरेंद्र सिंह गहरवार ने भाजपा कार्यालय के पुराने हिस्से पर बुलडोजर चलवा दिया, जिससे विवाद और भी गंभीर रूप ले लिया। भाजपा कार्यकर्ताओं तथा स्थानीय लोगों की भारी भीड़ मौके पर जमा रही, जिससे महौल तनावपूर्ण और राजनीतिक रूप से उथल-पुथल भरा हो गया।
जानकारी के अनुसार, झिरिया में स्थित उस भवन के एक हिस्से पर अवैध कब्जे के खिलाफ 2016 में विधायक गहरवार ने न्यायालय में वाद दायर किया था, जिसमें न्यायालय ने उनके पक्ष में फैसला देते हुए कब्जा वैध पक्षकार को दिलाने का आदेश पारित किया था। इसी आदेश के आधार पर कब्जा हटाने की कार्रवाई की जा रही थी।
इस पूरे विवाद पर बीजेपी के भीतर सूचना अभाव, संगठनात्मक प्रक्रिया की अनदेखी और विधायक के फैसले पर आपत्ति का मुद्दा उभरता दिख रहा है, जिससे पार्टी की भीतरी साख और राजनीतिक संगठित ढांचे पर सवाल उठे हैं. जिला अध्यक्ष ने एफआईआर दर्ज करने की बात कही है, और पार्टी के भीतर इस घटना को लेकर गहन समीक्षा की जा रही है।
सुरेंद्र सिंह गहरवार मध्य प्रदेश के सतना जिले से भाजपा के कुशल नेता हैं और उन्होंने चित्रकूट विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया है। उन्होंने तीन बार विधायक के रूप में चुनाव जीत रखा है। पहली बार 2008 में, फिर 2013 और 2018 में हार के बावजूद, उन्होंने वर्ष 2023 के चुनाव में फिर से जीत दर्ज की।
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उनका राजनीतिक करियर विवादों और सियासी संघर्षों से भरा रहा है। सतना की राजनीति में उनका नाम स्थानीय विवादों के साथ भी जुड़ा रहा है, और उनके खिलाफ भाजपा विरोधी नेताओं द्वारा भ्रष्टाचार के आरोप भी लगाए गए हैं। सुरेंद्र सिंह गहरवार की शिक्षा में एम.ए., एल.एल.बी व श्रम कानून में डिप्लोमा शामिल है, और वे भाजपा के लिए चित्रकूट में पार्टी की स्थिति मजबूत करने में सक्रिय भूमिका निभाते रहे हैं।