आमतौर पर घरों में उपयोग के बाद बेकार समझ कर फेंक दी जाने वाली सामग्री को एक अनूठी पहचान देने का काम जोधपुर के पर्यावरण प्रेमी संजय भंडारी ने किया है। उन्होंने वेस्ट मैटेरियल से न केवल कलात्मक वस्तुएं बनाईं, बल्कि उसे पर्यावरण जागरूकता का केंद्र बना दिया। जोधपुर पुलिस लाइन के पास स्थित यह ग्रीन गैलरी आज सैकड़ों लोगों के आकर्षण का केंद्र बन चुकी है। जहां लोग अपने बच्चों के साथ पहुंचते हैं और अपशिष्ट से उपयोगिता का जीवन पाठ सीखते हैं।
400 से अधिक कलाकृतियां वेस्ट मैटेरियल से
संजय भंडारी ने कबाड़ से 400 से अधिक आकर्षक और उपयोगी वस्तुएं बनाकर इस ग्रीन गैलरी को सजाया है। प्लास्टिक की बोतलें, टायर, पुरानी बाल्टियां, डिब्बे, टूटे बर्तन और अन्य कचरे को उन्होंने ऐसी रचनात्मकता से ढाला कि हर वस्तु प्रेरणा देती है। हर कोना पर्यावरण की रक्षा का संदेश देता है और यह गैलरी अब केवल एक गार्डन नहीं, बल्कि प्रेरणा का केंद्र बन चुकी है।
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हॉर्वर्ड वर्ल्ड रिकॉर्ड में पहले ही दर्ज हो चुका है नाम
पर्यावरण संरक्षण को जीवन का मिशन बना चुके संजय भंडारी का नाम पहले ही हॉर्वर्ड वर्ल्ड रिकॉर्ड (लंदन) में दर्ज है। अब उन्होंने अपने इस प्रेरणादायक कार्य के दम पर गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में नाम दर्ज कराने के लिए भी आवेदन कर दिया है। उन्होंने बताया कि उनका उद्देश्य केवल रिकॉर्ड बनाना नहीं, बल्कि समाज को यह दिखाना है कि वेस्ट मैटेरियल भी सार्थक उपयोग और पर्यावरण संरक्षण का साधन बन सकता है।
संजय भंडारी ने न केवल कबाड़ से उपयोगी सामग्री बनाई है, बल्कि हजारों की संख्या में पौधारोपण कर पर्यावरण को संवारने का भी काम किया है। उन्होंने स्कूलों, सामाजिक संस्थाओं और आम लोगों को जोड़कर वृक्षारोपण अभियान चलाया। इन अभियानों में हर वर्ग के लोगों की भागीदारी सुनिश्चित कर उन्होंने समाज को पर्यावरण संरक्षण के लिए प्रेरित किया।
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