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Sikar: Every month he walks 1350 kms, this unique devotee of Shyam Baba travels on foot from Mumbai to Khatu
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Sikar News: हर महीने 1350 किमी की पदयात्रा, श्याम बाबा के ये अनूठा भक्त मुंबई से खाटू तक करता है पैदल सफर
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, सीकर Published by: सीकर ब्यूरो Updated Sun, 13 Jul 2025 08:04 AM IST
मुंबई के रहने वाले चंद्रप्रकाश ढांढण बाबा श्याम के ऐसे अनन्य भक्त हैं, जिनकी भक्ति आज हजारों लोगों के लिए प्रेरणा का स्रोत बन चुकी है। चंद्रप्रकाश मूल रूप से रामगढ़ शेखावाटी के ढांढण गांव के निवासी हैं और हर महीने वे मुंबई से खाटूश्यामजी तक निशान लेकर पैदल यात्रा पर निकलते हैं। वर्ष 2019 से उन्होंने अब तक 86,400 किलोमीटर से अधिक की पदयात्रा पूरी कर ली है। हाल ही में उन्होंने अपनी 64वीं यात्रा पूरी कर बाबा श्याम के दरबार में हाजिरी लगाई।
चंद्रप्रकाश पेशे से भजन गायक हैं लेकिन उनकी असली पहचान अब एक श्याम भक्त पदयात्री और भक्ति प्रचारक के रूप में बन चुकी है। वे कहते हैं कि यह कठिन यात्रा वे केवल बाबा श्याम के दर्शनों की लालसा और विश्व कल्याण की भावना से करते हैं। रास्ते में भजन-कीर्तन करते हुए वे श्याम नाम का प्रचार करते हैं और लोगों को सेवा, प्रेम और भक्ति के मार्ग पर चलने की प्रेरणा देते हैं।
उनकी यात्रा का एक विशेष पहलू यह भी है कि वे गुजरात के महिसागर जिले के दूर-दराज के आदिवासी इलाकों नानीराठ, मीरापुर और मोटाराठ से होकर गुजरते हैं। इन क्षेत्रों में उन्होंने श्याम भक्ति की ऐसी अलख जगाई है कि अब वहां के कई आदिवासी परिवार बाबा श्याम के अनन्य भक्त बन चुके हैं। पहले जहां इन गांवों में श्याम भक्ति का नाम भी सुनने को नहीं मिलता था, आज वहीं से श्रद्धालु खाटूश्यामजी के दर्शन के लिए नियमित रूप से आने लगे हैं।
चंद्रप्रकाश की यह तपस्वी यात्रा न सिर्फ उनके अटूट विश्वास और समर्पण की मिसाल है, बल्कि यह भी दर्शाती है कि सच्ची भक्ति जाति, धर्म, भाषा और भूगोल की सीमाओं को लांघकर हर दिल में जगह बना सकती है।
आज चंद्रप्रकाश का जीवन एक चलते-फिरते भक्ति आंदोलन की तरह बन गया है। उनकी पदयात्रा, उनका समर्पण और भक्ति भाव यह दिखाते हैं कि जब इरादे नेक हों और भावना शुद्ध, तो एक अकेला इंसान भी समाज में बड़े बदलाव ला सकता है। बाबा श्याम के इस अनूठे भक्त की कहानी न केवल प्रेरणादायक है, बल्कि यह यह भी सिखाती है कि सेवा और भक्ति का मार्ग जीवन को अर्थपूर्ण बना सकता है।
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