{"_id":"694a7f994825f817d20cc406","slug":"sthai-lok-adalat-orders-up-board-and-college-2025-12-23","type":"story","status":"publish","title_hn":"UP Board: मार्कशीट में बदली जन्मतिथि, बोर्ड को सुधारने के आदेश, विद्यालय को हर्जाना देने को कहा","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
UP Board: मार्कशीट में बदली जन्मतिथि, बोर्ड को सुधारने के आदेश, विद्यालय को हर्जाना देने को कहा
अमर उजाला नेटवर्क, अलीगढ़
Published by: चमन शर्मा
Updated Tue, 23 Dec 2025 05:10 PM IST
सार
याचिका पर सुनवाई करते स्थायी लोक अदालत ने आदेश दिया है कि छात्र की अंकतालिका बोर्ड बदलकर भेजे। साथ में विद्यालय द्वारा उसके नुकसान की भरपाई के रूप में 40 हजार रुपये सात फीसदी ब्याज सहित व पांच हजार रुपये वाद खर्च एक माह में देने के निर्देश दिए हैं।
विज्ञापन
स्थायी लोक अदालत
- फोटो : प्रतीकात्मक
विज्ञापन
विस्तार
अलीगढ़ में चंडौस क्षेत्र के गांव रेसरी के पुनीत चौहान की हाईस्कूल की मार्कशीट में उसकी जन्मतिथि ही बदल दी गई। जब विद्यालय से लेकर बोर्ड तक इस गलती को सुधारने का अनुरोध किया तो छात्र का अनुरोध अनसुना कर दिया गया। अब इस मामले में स्थायी लोक अदालत ने बोर्ड को गलती सुधारकर नई मार्कशीट जारी करने व विद्यालय को छात्र को हर्जाना देने के आदेश दिए हैं।
Trending Videos
स्थायी लोक अदालत के अध्यक्ष शंकरलाल, सदस्य सत्यदेव व आरती की संयुक्त पीठ ने यह आदेश छात्र के पिता नरेंद्र सिंह की याचिका की सुनवाई करते हुए दिए हैं। याचिका के अनुसार उनके पुत्र पुनीत ने गांव ओगीपुर स्थित महर्षि दयानंद सीनियर सेकेंडरी स्कूल से 2017 में हाईस्कूल की थी। शुरुआती शिक्षा से ही उसकी जन्मतिथि नौ अगस्त 2003 है, लेकिन हाईस्कूल की मार्कशीट में उसकी जन्मतिथि गलती से 20-4-1999 दर्ज कर दी।
विज्ञापन
विज्ञापन
गलती सुधारने के लिए उन्होंने सीबीएसई बोर्ड प्रयागराज के परीक्षा नियंत्रक व विद्यालय प्रधानाचार्य से संपर्क किया। सभी पुराने दस्तावेज भेजे, लेकिन दोनों के स्तर से सुनवाई नहीं हुई। नोटिस को भी कोई जवाब नहीं आया। तब मजबूरन स्थायी लोक अदालत में याचिका दायर की। उन्होंने पहली कक्षा से लेकर आठवीं तक के दस्तावेज पेश किए।
याचिका पर सुनवाई करते हुए पीठ ने आदेश दिया है कि छात्र की अंकतालिका बोर्ड बदलकर भेजे। साथ में विद्यालय द्वारा उसके नुकसान की भरपाई के रूप में 40 हजार रुपये सात फीसदी ब्याज सहित व पांच हजार रुपये वाद खर्च एक माह में देने के निर्देश दिए हैं।
