हवा में खतरनाक जहर: सीजन में पहली बार मेरठ का AQI 419, पूरे शहर में स्मॉग की चादर, सांस लेना हुआ दूभर
मेरठ में इस सीजन का सबसे खराब AQI 419 दर्ज किया गया, जिससे शहर के ऊपर घना स्मॉग छाया रहा। खराब हवा के कारण आंखों में जलन, सांस लेने में दिक्कत और ठंड के बढ़ते असर से लोगों की परेशानी बढ़ गई है। एनसीआर के कई शहरों में भी प्रदूषण खतरनाक स्तर पर पहुंच गया है।
विस्तार
सर्दी के सीजन के साथ मेरठ में स्मॉग का दौर तेजी से बढ़ रहा है। शुक्रवार सुबह शहर का एयर क्वालिटी इंडेक्स 419 रिकॉर्ड किया गया, जो 'बहुत खराब' और 'लाल श्रेणी' में आता है। यह इस सीजन का सबसे ऊंचा स्तर है।
सुबह से रात तक छाया रहा स्मॉग
पूरा शहर और देहात स्मॉग की चपेट में रहा। सुबह की धूप भी प्रभावी नहीं हो सकी। दिनभर धुंध जैसी परत छाई रही, जिससे लोगों को आंखों में जलन और सांस लेने में दिक्कत का सामना करना पड़ा।
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सांसों पर बढ़ता संकट
बढ़ते प्रदूषण ने सांस के मरीजों के लिए स्थिति और कठिन बना दी। प्रदूषित हवा के कारण लोगों को घर से बाहर निकलने में परेशानी हुई। विशेषज्ञों के अनुसार, लगातार गिरती वायु गुणवत्ता अगले कुछ दिनों में और भी हालात बिगाड़ सकती है।
ठंड में बढ़ोतरी भी जारी
रात के तापमान में गिरावट है और दिन में भी ठंड का असर बढ़ रहा है। मौसम विभाग के अनुसार, अगले दो–तीन दिनों में तापमान और नीचे आ सकता है, जिससे स्मॉग की स्थिति और गंभीर हो सकती है।
वायु प्रदूषण रोकने के उपाय
वाहनों का कम उपयोग करें: पैदल चलें, साइकिल चलाएं या पब्लिक ट्रांसपोर्ट का इस्तेमाल करें।
स्वच्छ ऊर्जा अपनाएं: सौर ऊर्जा, पवन ऊर्जा जैसे विकल्प चुनें।
पेड़-पौधे लगाएं: प्रदूषण घटाने का सबसे प्रभावी और प्राकृतिक तरीका।
औद्योगिक उत्सर्जन नियंत्रित करें: फिल्टर और हरित तकनीकें अपनाना जरूरी।
कचरा न जलाएं: पत्तियों को खाद में बदलें, खुले में जलाना स्थिति और गंभीर बनाता है।
यह रहा एनसीआर में प्रदूषण का हाल (AQI)
बागपत -358
बुलंदशहर - 304
दिल्ली -367
गाजियाबाद - 430
ग्रेटर नोएडा -361
हापुड़ - 417
मेरठ - 419
मुजफ्फरनगर - 355
नोएडा - 396
गंगानगर -420
जयभीम नगर - 406
पल्लवपुरम - 431
दिल्ली रोड - 395
बेगमपुल - 380
केसरगंज -401
हापुड़ चौराहा - 412