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Hathras: नगर पालिका अध्यक्ष को कारण बताओ नोटिस, 15 दिन में मांगा स्पष्टीकरण, इन आरोपों की हुई पुष्टि
अमर उजाला नेटवर्क, हाथरस
Published by: चमन शर्मा
Updated Fri, 29 Aug 2025 03:43 AM IST
सार
यदि 15 दिन में स्पष्टीकरण नहीं दिया जाता है, तो यह मान लिया जाएगा कि इस संबंध में आपको कुछ नहीं कहना है। उपलब्ध अभिलेखों और गुण-दोष के आधार पर उत्तर प्रदेश नगर पालिका अधिनियम, 1916 की धारा-48 की सुसंगत धारा में आपके विरूद्ध कार्रवाई प्रारंभ कर दी जाएगी।
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हाथरस नगर पालिका
- फोटो : संवाद
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विस्तार
बिना तकनीकी और वित्तीय मूल्यांकन कराए 35 वार्डों में घरों से (डोर टु डोर) कूड़ा एकत्रित करने का ठेका छोड़ने में हाथरस नगर पालिका अध्यक्ष को शासन ने कारण बताओं को नोटिस जारी किया है। उनसे 15 दिन के भीतर स्पष्टीकरण मांगा गया है। जवाब नहीं देने पर पालिका के हित के विरुद्ध कार्य करने पर कार्रवाई करने की बात कही गई है।
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इस संबंध में सभासद मनीष अग्रवाल एवं सुनील अग्निहोत्री ने डीएम को एक शिकायती पत्र दिया था, जिसकी डीएम ने कमेटी गठित कर जांच कराई थी। जांच में अनियमितताएं सामने आई थीं, जिसके बाद डीएम ने पूरी जांच रिपोर्ट कार्रवाई के लिए शासन को भेजी थी। अब इस मामले में नगर विकास विभाग के विशेष सचिव सत्यप्रकाश पटेल ने नगर पालिका अध्यक्ष को कारण बताओं नोटिस जारी किया है।
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उन्होंने नगर पालिका अध्यक्ष को संबोधित पत्र में कहा है कि अपने पदीय दायित्वों का भली-भांति निर्वहन न किया जाना नगर पालिका के हितों के पूर्णतया विपरीत है। उक्त आरोप के संबंध में अपना स्पष्टीकरण/उत्तर 15 दिन में शासन को उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। यदि इस अवधि में स्पष्टीकरण नहीं दिया जाता है, तो यह मान लिया जाएगा कि इस संबंध में आपको कुछ नहीं कहना है। उपलब्ध अभिलेखों और गुण-दोष के आधार पर उत्तर प्रदेश नगर पालिका अधिनियम, 1916 की धारा-48 की सुसंगत धारा में आपके विरूद्ध कार्रवाई प्रारंभ कर दी जाएगी।
इन आरोपों की हुई थी पुष्टि
- घरों से कूड़ा एकत्र किए जाने के लिए 26 नंबवर 2024 में नगर पालिका परिषद ने निविदा आमंत्रित की, लेकिन नियम और शासन के निर्देशों के अनुसार ई-निविदा आमंत्रित नहीं की गई।
- निविदा का तकनीकी मूल्यांकन किए बिना सीधे वित्तीय मूल्यांकन के लिए तुलनात्मक चार्ट बनाकर एल-1 फर्म को चयनित कर लिया गया। यहां वित्तीय नियमों का पालन नहीं किया गया है।
- ऑफर की गई दरों से संबंधित तीनों प्रतिभागी फर्म तकनीकी मूल्यांकन में अनर्ह हैं,लेकिन नगर पालिक ने अपर्याप्त प्रपत्र होने के बाद भी फर्मों को वित्तीय मूल्यांकन के लिए सफल घोषित किया।
- मैसर्स ब्लैक इन्फ्राटेक फर्म को 22,45,810 का भुगतान किया गया, जोकि नियमों के विपरीत होने के साथ ही गम्भीर वित्तीय अनियमितता को भी परिलक्षित करता है।
- वित्तीय नियमों में निहित प्रावधानों के अनुसार निविदा का तकनीकी एवं वित्तीय मूल्यांकन किए बिना फर्म का चयन कर कार्यदेश जारी किया। पालिका के अधिनियम के प्रावधानों को दरकिनार किया।