{"_id":"68cc471e6fd541e82405277f","slug":"e-challans-of-59895-vehicles-will-be-cancelled-in-the-district-hardoi-news-c-213-1-hra1004-137603-2025-09-18","type":"story","status":"publish","title_hn":"Hardoi News: जिले में 59,895 वाहनों के ई-चालान किए जाएंगे निरस्त","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
Hardoi News: जिले में 59,895 वाहनों के ई-चालान किए जाएंगे निरस्त
विज्ञापन

विज्ञापन
हरदोई। प्रदेश सरकार ने वर्ष 2017 से 2021 के बीच किए गए ई-चालान को निरस्त करने के आदेश दिए हैं। सरकार के इस आदेश के बाद जिले में भी प्रक्रिया शुरू हो गई है। शून्य मूल्य की रसीद जारी होने के बाद यातायात विभाग से प्रक्रिया पूरी की जा रही है। जिले के करीब 60 हजार ई-चालान निरस्त होने से वाहन चालकों को राहत मिलेगी।
वाहन चालकों के हेलमेट न पहनना, तीन सवारी, सीट बेल्ट का प्रयोग न करना और हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट न लगे होने पर सबसे अधिक ई-चालान होते हैं। तमाम वाहन चालक ई-चालान जमा ही नहीं करते हैं। ऐसे चालान लंबित रहते हैं। इस वजह से फिटनेस, परमिट, वाहन ट्रांसफर और एचएसआरपी (हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट) के मामलों में अवरोध उत्पन्न होता है। इनको ही समाप्त करने के लिए परिवहन आयुक्त ब्रजेश नारायण सिंह ने एक जनवरी 2017 से 31 दिसंबर 2021 तक हुए सभी ई- चालान को निरस्त कर दिया है।
इस आदेश के बाद जिले में भी करीब 59,895 ई-चालान निरस्त होंगे। आंकड़ों के अनुसार करीब 1.20 लाख के आसपास चालान थे, इनमें से 60 हजार से अधिक भरे जा चुके हैं। जो नहीं भरे गए हैं उन्हें अब कोर्ट से ऑर्डर बनकर आने के बाद जीराे मूल्य की रसीद लगने के बाद प्रक्रिया पूरी की जाती है। यातायात निरीक्षक प्रमोद कुमार यादव ने बताया कि सरकार के आदेश के बाद उक्त अवधि के जितने भी ई-चालान हैं वहीं नियमानुसार निरस्त किए जाएंगे।
कोरोना काल के पहले से ही निरस्त हो चुके चालान
सरकार वैसे तो कोरोना काल के दौरान हुए चालानों को पहले ही निरस्त कर चुकी है। वर्ष 2020 से 2021 के बीच में चालानों को निरस्त करने का आदेश दिया था। वहीं अब 2017 से 2019 के बीच के चालान निरस्त किए जा रहे हैं। इसमें भी 2017 से 2018 के मध्य तक ई-चालन होना भी चालू नहीं हुए थे। इसके बीच के समय के ई-चालानों को अब निरस्त करने का आदेश दिया गया है।

वाहन चालकों के हेलमेट न पहनना, तीन सवारी, सीट बेल्ट का प्रयोग न करना और हाई सिक्योरिटी नंबर प्लेट न लगे होने पर सबसे अधिक ई-चालान होते हैं। तमाम वाहन चालक ई-चालान जमा ही नहीं करते हैं। ऐसे चालान लंबित रहते हैं। इस वजह से फिटनेस, परमिट, वाहन ट्रांसफर और एचएसआरपी (हाई सिक्योरिटी रजिस्ट्रेशन प्लेट) के मामलों में अवरोध उत्पन्न होता है। इनको ही समाप्त करने के लिए परिवहन आयुक्त ब्रजेश नारायण सिंह ने एक जनवरी 2017 से 31 दिसंबर 2021 तक हुए सभी ई- चालान को निरस्त कर दिया है।
विज्ञापन
विज्ञापन
इस आदेश के बाद जिले में भी करीब 59,895 ई-चालान निरस्त होंगे। आंकड़ों के अनुसार करीब 1.20 लाख के आसपास चालान थे, इनमें से 60 हजार से अधिक भरे जा चुके हैं। जो नहीं भरे गए हैं उन्हें अब कोर्ट से ऑर्डर बनकर आने के बाद जीराे मूल्य की रसीद लगने के बाद प्रक्रिया पूरी की जाती है। यातायात निरीक्षक प्रमोद कुमार यादव ने बताया कि सरकार के आदेश के बाद उक्त अवधि के जितने भी ई-चालान हैं वहीं नियमानुसार निरस्त किए जाएंगे।
कोरोना काल के पहले से ही निरस्त हो चुके चालान
सरकार वैसे तो कोरोना काल के दौरान हुए चालानों को पहले ही निरस्त कर चुकी है। वर्ष 2020 से 2021 के बीच में चालानों को निरस्त करने का आदेश दिया था। वहीं अब 2017 से 2019 के बीच के चालान निरस्त किए जा रहे हैं। इसमें भी 2017 से 2018 के मध्य तक ई-चालन होना भी चालू नहीं हुए थे। इसके बीच के समय के ई-चालानों को अब निरस्त करने का आदेश दिया गया है।