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Kasganj News: पांच साल बाद न्यूनतम पारा 7 डिग्री
संवाद न्यूज एजेंसी, कासगंज
Updated Fri, 19 Dec 2025 11:49 PM IST
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कासगंज। कड़ाके की ठंड ने लोगों की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। शुक्रवार को घना कोहरा छाया रहा और ओस की बूंदों ने गलन को और तेज कर दिया। न्यूनतम तापमान गिरकर 7 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। यह वर्ष 2020 के बाद दिसंबर माह में जिले में पड़ रही सबसे कड़ाके की ठंड मानी जा रही है।पिछले पांच दिनों से जिले में शीतलहर जैसे हालात हैं। शुक्रवार को पूरा जिला कोहरे की चादर में लिपटा रहा। सुबह से ही घना कोहरा छाए रहने के कारण दृश्यता बेहद कम रही। सड़कों पर वाहन धीमी गति में चले। वाहनों की लाइट जलाना पड़ीं। इस बीच रुक-रुक कर गिरती ओस की बूंदों ने गलन को और बढ़ा दिया। सुबह के समय न्यूनतम पारा 7 डिग्री रिकॉर्ड किया गया। इससे पहले दिसंबर माह में 18 दिसंबर 2020 को न्यूनतम तापमान 7 डिग्री और अधिकतम 20 डिग्री रहा था।ठंड से बचने के लिए लोग अलाव का सहारा लेते नजर आए। चौराहों, बाजारों और ग्रामीण इलाकों में अलाव के आसपास लोगों की भीड़ जुटी रही। दिनभर ठिठुरन बनी रही, जिसका सबसे ज्यादा असर बुजुर्गों, बच्चों और दिहाड़ी मजदूरों पर पड़ा। वाहन चालकों को भी कोहरे के कारण वाहनों को बेहद धीमी गति से चलाना पड़ा।दोपहर करीब तीन बजे हल्की धूप निकली। इस दौरान अधिकतम तापमान 21 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। शाम होते ही ठंड का असर फिर बढ़ गया, जिससे बाजारों की चहल-पहल प्रभावित हुई। कड़ाके की ठंड असर पशु-पक्षियों पर भी देखा गया। कड़ाके की ठंड ने जनजीवन अस्त-व्यस्त है। दिनभर घना कोहरा छाया रहने और भीषण गलन के चलते लोगों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ा। गंभीर रूप से बीमार और अधिक आयु के बुजुर्गों के लिए जानलेवा बन रही है। दो दिन में कस्बे में अत्यधिक बीमार चार बुजुर्गों की मौत हो चुकी है, इससे क्षेत्र में शोक का माहौल है। नगर पालिका द्वारा सार्वजनिक स्थलों पर अलाव जलवाकर लोगों को राहत देने का प्रयास किया जा रहा है। वहीं, ग्रामीण क्षेत्रों से बाजार आने वाले लोगों की संख्या में भी कमी आई है। ठंड का असर मार्ग शीर्ष मेले पर दिखाई दे रहा है। वहां पहले जैसी चहल-पहल नहीं है। संवाद
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