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पुलवामा हमला : बलिदान हुए थे तोफापुर के रमेश, सरकार के वादे को लेकर पिता ने कही बड़ी बात; निकाला कैंडल मार्च
अमर उजाला नेटवर्क, वाराणसी।
Published by: अमन विश्वकर्मा
Updated Fri, 14 Feb 2025 08:33 PM IST
सार
तोफापुर गांव में गुरुवार को पुलवामा हमले की छठी बरसी की पूर्वसंध्या पर रमेश यादव की पुण्य स्मृति में श्रद्धांजलि सभा हुई। हवन-पूजन हुआ। तोफापुर के युवाओं ने उनकी याद में क्रिकेट प्रतियोगिता का आयोजन किया। प्रधान सयाली यादव के नेतृत्व में कैंडल मार्च निकाला गया।
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काशी के तोफापुर गांव के रमेश यादव भी शहीद हुए थे।
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
Pulwama Attack : 14 फरवरी 2019 में हुए पुलवामा हमले में काशी के तोफापुर गांव के रमेश यादव भी शहीद हुए थे। दो दिन पहले ही एक महीने की छुट्टी के बाद उन्होंने कश्मीर में ड्यूटी ज्वाइन की थी कि हमले की खबर आ गई और वह शहीद हो गए।
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छह साल बीत गए हैं लेकिन सरकार ने जो वादे किए थे उन्हें आज तक पूरा नहीं किया है। कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी भी उस दौरान शहीद के घर आई थीं और उन्होंने शहीद के बड़े भाई राजेश को कर्नाटक में नौकरी देने का वादा किया था, वो भी सिर्फ वादा ही बनकर रह गया।
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यूपी सरकार ने रमेश की पत्नी को डीएम कार्यालय में नौकरी दे दी। शहीद के नाम पर खेल मैदान और तोरण द्वार बनाया गया है। रमेश के पिता श्याम नारायण कहते हैं कि बेटे की शहादत पर हर किसी को गर्व है लेकिन मलाल इस बात का है कि बेटे ने देश के लिए जान कुर्बान कर दी और सरकार ने उन्हें शहीद का दर्जा भी नहीं दिया।
वह बताते हैं कि सरकार के प्रतिनिधि के रूप में मंत्री और अफसर घर आए थे। उमरहा-तोफापुर मार्ग और एक विद्यालय का नाम उनके शहीद बेटे के नाम करने की घोषणा की थी, जो आज तक पूरी नहीं की गई। सरकार ने परिवार को पेट्रोल पंप देने का वादा किया था, छह साल बाद भी वो वादा पूरा नहीं हुआ।