रायसेन किले के सोमेश्वर धाम में 12 घंटे के लिए खुलता है शिव मंदिर
रायसेन के ऐतिहासिक किले पर स्थित प्राचीन सोमेश्वर धाम शिव मंदिर में महाशिवरात्रि के अवसर पर श्रद्धालुओं का उत्साह देखते ही बनता है। यह शिव मंदिर साल में केवल एक बार, महाशिवरात्रि के दिन, मात्र 12 घंटे के लिए खोला जाता है। इस दौरान 50 हजार से अधिक भक्त यहां अभिषेक, पूजा-अर्चना कर अपनी मनोकामनाएं मांगते हैं।
जन आंदोलन से शुरू हुई परंपरा
मंदिर के पट सुबह 6 बजे सूर्योदय से शाम 6 बजे सूर्यास्त तक खोले जाते हैं। यह परंपरा एक जन आंदोलन के बाद शुरू हुई थी। केवल 12 घंटे के लिए मंदिर खुलने के कारण भक्तजन सुबह 5 बजे से ही दर्शन के लिए पहुंचने लगते हैं और पूरे रायसेन नगर में शिवमय वातावरण हो जाता है।
देश का अनोखा शिव मंदिर
सोमेश्वर धाम शिव मंदिर अपनी अनोखी परंपरा के कारण देशभर में प्रसिद्ध है, जहां साल में केवल एक दिन 12 घंटे के लिए पूजा का अवसर मिलता है। रायसेन और आसपास के शहरों से हजारों श्रद्धालु भगवान शिव के दर्शन को आते हैं। पुरातत्व विभाग और जिला प्रशासन द्वारा सुरक्षा और सुचारू दर्शन की व्यवस्था की जाती है।
12वीं सदी का ऐतिहासिक मंदिर
लगभग 12वीं सदी में बने इस शिव मंदिर की विशेषता यह है कि सुबह सूर्य की पहली किरण जैसे ही मंदिर पर पड़ती है, पूरा मंदिर सोने की तरह जगमगा उठता है। मंदिर में भगवान गणेश, कार्तिकेय और नंदी की प्राचीन मूर्तियां इसकी स्थापत्य कला और ऐतिहासिक महत्व को दर्शाती हैं।
विशाल मेला और आस्था का केंद्र
महाशिवरात्रि पर रायसेन किले पर विशाल मेला लगता है, जिसमें हजारों श्रद्धालु शामिल होते हैं। सुरक्षा और व्यवस्था के लिए जिला प्रशासन और पुलिस विभाग की विशेष तैयारी रहती है। इसके अलावा, सालभर पर्यटक और श्रद्धालु रायसेन किले पर घूमने और शिवलिंग के दर्शन करने आते हैं।
सोमेश्वर धाम में महाशिवरात्रि के अवसर पर दर्शन और पूजा-अर्चना के लिए भक्तों की अपार भीड़ उमड़ती है, जिससे यह स्थान आस्था और धार्मिक पर्यटन का प्रमुख केंद्र बन गया है।