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स्कूल में रनथ्रू दौड़ी सुपरफास्ट कला एक्सप्रेस
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कानपुर के भीतरगांव कस्बे के बेहटा गंभीरपुर गांव के परिषदीय स्कूल भवन के नए लुक के साथ फोटो खिंचव?
- फोटो : GHATAMPUR
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भीतरगांव (कानपुर)। बेहंटा-गंभीरपुर गांव के परिषदीय विद्यालय भवन में कराई गई पेंटिंग इलाके में चर्चा का विषय बनी है। विद्यालय में कार्यरत शिक्षकों की कल्पना पर स्कूल के कमरों और दीवारों को ट्रेन की बोगी की शक्ल में पेंट किया गया है। जबकि, किचेन को ट्रेन के इंजन की तरह सजाया गया है। शिक्षाधिकारी का दावा है कि जिले का यह पहला स्कूल है जिसे ट्रेन की बोगी की तरह सजाया गया है।
राज्य संसाधन शिक्षक समूह के सदस्य राजेश यादव ने बताया कि विद्यालय प्रधानाध्यापक इला पांडेय और शिक्षकों ने कायाकल्प योजना के तहत स्कूल भवन की रंगाई-पुताई नए अंदाज में कराने की योजना बनाई। उन्होंने ट्रेन की बोगी और इंजन की कल्पना को स्कूल भवन में साकार करने की ठानी। पेंटर को बुलाकर योजना समझाई और कार्य शुरू करा दिया। इस कार्य में पंचायत सचिव रामपाल ने भी योगदान लिया गया। जब स्कूल भवन रंग-पुतकर तैयार हुआ तो देखने वाले दंग रह गए। दूर से देखने पर लगता है जैसे कि स्कूल भवन नहीं बल्कि, ट्रेन की बोगी खड़ी है। स्कूल भवन के नए लुक को देखने के लिए आसपास के ग्रामीण और स्कूलों के शिक्षक भी आ रहे हैं।
कक्षाओं की दीवारों पर भी चित्रकारी
विद्यालय भवन का बाहरी लुक जहां ट्रेन की बोगी का है, वहीं कमरों में की दीवारों पर छात्रों की जानकारी के लिए पर्यावरण से संबंधित जानकारी और जीव-जंतुओं की आकर्षक चित्रकारी की गई। शिक्षकों का दावा है कि लॉकडाउन खुलते विद्यालय छात्रों के आकर्षण का केंद्र बनेगा और उनकी पढ़ाई में और रुचि बढ़ेगी।
वक्त के साथ बदलाव जरूरी
जिला बेसिक शिक्षाधिकारी पवन तिवारी ने बताया कि बेंहटा-गंभीरपुर गांव के परिषदीय विद्यालय की नए लुक में फोटो अभी मोबाइल पर ही देखी है। जिस नए लुक में विद्यालय की पेंटिंग कराई गई है, वह काफी आकर्षक है। ट्रेन की बोगी वाला स्कूल का नया लुक बच्चों को भी आकर्षित करेगा। वहीं, अन्य शिक्षकों को भी इससे सीख लेनी चाहिए।
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राज्य संसाधन शिक्षक समूह के सदस्य राजेश यादव ने बताया कि विद्यालय प्रधानाध्यापक इला पांडेय और शिक्षकों ने कायाकल्प योजना के तहत स्कूल भवन की रंगाई-पुताई नए अंदाज में कराने की योजना बनाई। उन्होंने ट्रेन की बोगी और इंजन की कल्पना को स्कूल भवन में साकार करने की ठानी। पेंटर को बुलाकर योजना समझाई और कार्य शुरू करा दिया। इस कार्य में पंचायत सचिव रामपाल ने भी योगदान लिया गया। जब स्कूल भवन रंग-पुतकर तैयार हुआ तो देखने वाले दंग रह गए। दूर से देखने पर लगता है जैसे कि स्कूल भवन नहीं बल्कि, ट्रेन की बोगी खड़ी है। स्कूल भवन के नए लुक को देखने के लिए आसपास के ग्रामीण और स्कूलों के शिक्षक भी आ रहे हैं।
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कक्षाओं की दीवारों पर भी चित्रकारी
विद्यालय भवन का बाहरी लुक जहां ट्रेन की बोगी का है, वहीं कमरों में की दीवारों पर छात्रों की जानकारी के लिए पर्यावरण से संबंधित जानकारी और जीव-जंतुओं की आकर्षक चित्रकारी की गई। शिक्षकों का दावा है कि लॉकडाउन खुलते विद्यालय छात्रों के आकर्षण का केंद्र बनेगा और उनकी पढ़ाई में और रुचि बढ़ेगी।
वक्त के साथ बदलाव जरूरी
जिला बेसिक शिक्षाधिकारी पवन तिवारी ने बताया कि बेंहटा-गंभीरपुर गांव के परिषदीय विद्यालय की नए लुक में फोटो अभी मोबाइल पर ही देखी है। जिस नए लुक में विद्यालय की पेंटिंग कराई गई है, वह काफी आकर्षक है। ट्रेन की बोगी वाला स्कूल का नया लुक बच्चों को भी आकर्षित करेगा। वहीं, अन्य शिक्षकों को भी इससे सीख लेनी चाहिए।

कानपुर के भीतरगांव कस्बे के बेहटा गंभीरपुर गांव में परिषदीय स्कूल भवन को ट्रेन की बोगी का लुक दिय- फोटो : GHATAMPUR
