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Lakhimpur Kheri News: शिव मंदिर कॉरिडोर के निर्माण की धीमी रफ्तार... ठेकेदारों पर लगेगा पांच करोड़ से अधिक का जुर्माना
संवाद न्यूज एजेंसी, लखीमपुर खीरी
Updated Fri, 19 Dec 2025 11:44 PM IST
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लखीमपुर खीरी। गोला गोकर्णनाथ में निर्माणाधीन पौराणिक शिव मंदिर कॉरिडोर का कार्य तय समय में पूरा होने की संभावना कम है। कार्य की प्रगति धीमी होने पर प्रशासन ने सख्त रुख अपनाया है। संबंधित ठेकेदारों पर पांच करोड़ रुपये से ज्यादा का जुर्माना लगाने के लिए प्रशासन ने तैयारी शुरू कर दी है।
डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल की तरफ से गठित एडीएम नरेंद्र बहादुर सिंह की अगुआई वाली चार सदस्यीय जांच समिति ने बीते दिनों कॉरिडोर का स्थलीय निरीक्षण किया था। इस दाैरान कार्य की भौतिक प्रगति अत्यंत धीमी और श्रमिकों की संख्या कम पाई गई। कार्यदायी संस्था यूपीपीसीएल के एपीएम भी निरीक्षण के समय मौके पर मौजूद थे।
गठित समिति ने उपलब्ध बार चार्ट का विश्लेषण किया, जिसमें स्पष्ट हुआ कि अनुबंध के अनुसार कार्य की पूर्णता तिथि 15 मार्च 2026 है। इसके विपरीत ठेकेदारों ने प्रस्तुत वर्क प्रोग्राम में कार्य अगस्त, 2026 तक पूरा करने का प्रस्ताव दिया है, जो अनुबंध की शर्तों के अनुरूप नहीं है।
श्रावण मास में गोला गोकर्णनाथ शिव मंदिर में बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं व कांवड़ियों का आगमन होता है। यदि कॉरिडोर निर्माण कार्य श्रावण मास से पूर्व पूर्ण नहीं होता है तो शांति एवं कानून-व्यवस्था बनाए रखने में प्रतिकूल परिस्थितियां उत्पन्न हो सकती हैं। इनको ध्यान में रखते हुए जांच समिति की ओर से डीएम को प्रस्तुत आख्या के आधार पर संबंधित ठेकेदारों के विरुद्ध अनुबंध की शर्तों के अंतर्गत जुर्माना लगाने की कार्रवाई किए जाने की संस्तुति की गई।
-- -- -- -- -- -- इन पर हो सकती है कार्रवाई-- --
डीएम ने बताया कि श्रावण मास से पहले कॉरिडोर निर्माण कार्य न पूरा होने की स्थिति को देखते हुए ठेकेदारों पर लिक्विडेटेड डैमेज लगाने की तैयारी कर ली गई है। अनुबंध संख्या 109 में मेसर्स रीना सिंह के विरुद्ध 1.81 करोड़ रुपये, अनुबंध संख्या 110 में मेसर्स नारायन एसोसिएट्स के विरुद्ध 1.73 करोड़ रुपये तथा अनुबंध संख्या 111 में मेसर्स नारायन एसोसिएट्स के विरुद्ध 1.71 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाने का प्रस्ताव है। समिति की रिपोर्ट पर डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल ने कार्यदायी संस्था यूपीपीसीएल के प्रोजेक्ट मैनेजर से स्पष्टीकरण भी तलब किया है। जांच समिति में एडीएम नरेंद्र बहादुर सिंह, अधिशासी अभियंता लोक निर्माण विभाग प्रांतीय खंड, अधिशासी अभियंता विद्युत वितरण खंड गोला, उप जिलाधिकारी गोला शामिल हैं।
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डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल की तरफ से गठित एडीएम नरेंद्र बहादुर सिंह की अगुआई वाली चार सदस्यीय जांच समिति ने बीते दिनों कॉरिडोर का स्थलीय निरीक्षण किया था। इस दाैरान कार्य की भौतिक प्रगति अत्यंत धीमी और श्रमिकों की संख्या कम पाई गई। कार्यदायी संस्था यूपीपीसीएल के एपीएम भी निरीक्षण के समय मौके पर मौजूद थे।
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गठित समिति ने उपलब्ध बार चार्ट का विश्लेषण किया, जिसमें स्पष्ट हुआ कि अनुबंध के अनुसार कार्य की पूर्णता तिथि 15 मार्च 2026 है। इसके विपरीत ठेकेदारों ने प्रस्तुत वर्क प्रोग्राम में कार्य अगस्त, 2026 तक पूरा करने का प्रस्ताव दिया है, जो अनुबंध की शर्तों के अनुरूप नहीं है।
श्रावण मास में गोला गोकर्णनाथ शिव मंदिर में बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं व कांवड़ियों का आगमन होता है। यदि कॉरिडोर निर्माण कार्य श्रावण मास से पूर्व पूर्ण नहीं होता है तो शांति एवं कानून-व्यवस्था बनाए रखने में प्रतिकूल परिस्थितियां उत्पन्न हो सकती हैं। इनको ध्यान में रखते हुए जांच समिति की ओर से डीएम को प्रस्तुत आख्या के आधार पर संबंधित ठेकेदारों के विरुद्ध अनुबंध की शर्तों के अंतर्गत जुर्माना लगाने की कार्रवाई किए जाने की संस्तुति की गई।
डीएम ने बताया कि श्रावण मास से पहले कॉरिडोर निर्माण कार्य न पूरा होने की स्थिति को देखते हुए ठेकेदारों पर लिक्विडेटेड डैमेज लगाने की तैयारी कर ली गई है। अनुबंध संख्या 109 में मेसर्स रीना सिंह के विरुद्ध 1.81 करोड़ रुपये, अनुबंध संख्या 110 में मेसर्स नारायन एसोसिएट्स के विरुद्ध 1.73 करोड़ रुपये तथा अनुबंध संख्या 111 में मेसर्स नारायन एसोसिएट्स के विरुद्ध 1.71 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाने का प्रस्ताव है। समिति की रिपोर्ट पर डीएम दुर्गा शक्ति नागपाल ने कार्यदायी संस्था यूपीपीसीएल के प्रोजेक्ट मैनेजर से स्पष्टीकरण भी तलब किया है। जांच समिति में एडीएम नरेंद्र बहादुर सिंह, अधिशासी अभियंता लोक निर्माण विभाग प्रांतीय खंड, अधिशासी अभियंता विद्युत वितरण खंड गोला, उप जिलाधिकारी गोला शामिल हैं।
