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अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर वाराणसी में रहे दो मंत्री, प्राणायाम कर बोले एक दिन नहीं जीवन का हिस्सा बनाने की जरूरत
विश्व योग दिवस पर अस्सी घाट पर शनिवार को आयोजित योगाभ्यास कार्यक्रम में केंद्रीय मंत्री अनुप्रिया पटेल सहित मंती सुरेश खन्ना ने काशीवासियों के साथ योगाभ्यास किया। इस दौरान बड़ी संख्या में महिलाएं शामिल रही। योग शुरू होने से पहले लोगों ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का संबोधन सुना। कार्यक्रम में अनुप्रिया पटेल ने कहा कि योग को केवल एक दिन नहीं बल्कि पूरे जीवन का हिस्सा बनाना चाहिए। जिस तरह की जीवन शैली हो गई है,उसमें हर कोई
मानसिक स्वास्थ्य की बात कर रहा है। बहुत सारे लोगों को कंसंट्रेशन, स्ट्रेस की प्रॉब्लम होती है। कई तरह के कन्फ्यूजन होते है। यानी मानसिक विचारों में स्पष्टता नहीं होती है। ऐसे में योग इन तमाम समस्याओं का समाधान है, किंतु यह सारे लाभ आपको तभी महसूस होंगे जब आप योग को नियमित रूप से अपने जीवन में शामिल करेंगे।
अनुप्रिया ने कहा कि इस बार का अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का कार्यक्रम बेहद खास है। इस बार हम अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के 10 वर्ष पूर्ण कर रहे हैं और 11वीं वर्षगांठ मना रहे हैं। ऐसे में 10 किस्म के प्रमुख कार्यक्रम हो रहे हैं। जैसा काशी में योग संगम आज हो रहा है वैसा एक लाख स्थान पर देश में हो रहा है। भारत से शुरू योग का लाभ को दुनिया से कोने-कोने में पहुंच रहा है। धीरे-धीरे बड़ी संख्या में दुनिया के तमाम देश योग को अपना रहे हैं। आज पूरी दुनिया मान रही है,यह हम सबके लिए बेहद गौरव का विषय है। कार्यक्रम का संचालन अंकिता खत्री ने किया। मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि महर्षि पतंजलि ने लगभग 3,000 साल पहले योग सूत्र दिया था। हमारे प्रधानमंत्री ने उसे दुनिया का कर्यक्रम बना दिया। 11 दिसंबर, 2014 को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इसे मान्यता दिलाई। आज मुझे खुशी है कि दुनिया के 192 देश इस योग से जुड़े हैं। यह भारतीय परंपरा की सबसे बड़ी जीत है।
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