तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ सोमवार को जबरदस्त विरोध दिखा। सपा के वरिष्ठ नेता राज्यसभा सदस्य रेवती रमण सिंह, विधायक उज्जवल रमण सिंह समेत कई नेताओं को पुलिस ने घर से निकलने ही नहीं दिया। इसके अलावा किसानों, सपाइयों तथा अधिवक्ताओं के एक वर्ग ने कलक्ट्रेट परिसर तथा आसपास क्षेत्रों में जुलूस निकाला एवं प्रदर्शन किया।
कृषि बिल के विरोध में प्रदर्शन : सैकड़ों सपाई गिरफ्तार, सांसद-विधायक घर में रहे कैद
सपा कार्यकर्ताओं ने सुबह 11 बजे से धरना की घोषणा की थी लेकिन प्रदेश प्रवक्ता केके श्रीवास्तव, जिलाध्यक्ष योगेश चंद्र यादव, महानगर अध्यक्ष इफ्तेखार हुसैन की अगुवाई में बड़ी संख्या में कार्यकर्ता सुबह करीब 10 बजे ही धरने पर बैठ गए। पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की लेकिन वे पीछे हटने को तैयार नहीं थे। इसके बाद पुलिस जिला एवं महानगर अध्यक्ष तथा अन्य कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर पुलिस लाइन ले गई।
इसके बाद पूर्व घोषित कार्यक्रम के तहत 11 बजे से कार्यकर्ताओं के कलक्ट्रेट पहुंचने का क्रम भी शुरू हो गया। वे जुलूस की शक्ल में पहुंच रहे थे। कार्यकर्ता कलक्ट्रेट परिसर में जाने की कोशिश कर रहे थे लेकिन पुलिस ने गेट पर ही रोक लिया। इसके बाद कार्यकर्ता गेट पर ही धरने पर बैठ गए। पुलिस बलपूर्वक सभी को गिरफ्तार करके पुलिस लाइन ले गई। इसी दौरान कई कार्यकर्ता पीछे के रास्ते से परिसर में भी प्रवेश करने में सफल रहे। पुलिस उन्हें भी गिरफतार करके पुलिस लाइन ले गई।
इस तरह से कार्यकर्ताओं के पहुंचने और गिरफ्तारी का सिलसिला दिन में करीब दो बजे तक चला। गिरफ्तारी देने वालों में केके श्रीवास्तव, विनोद चंद्र दुबे, एमएलसी रामवृक्ष यादव, डॉ.मान सिंह, पूर्व सांसद धर्मराज पटेल, नागेंद्र सिंह पटेल, पंधारी यादव, सत्यवीर मुन्ना, परवेज अहमद आदि शामिल रहे। इस दौरान कलक्ट्रेट परिसर के आसपास जाम की स्थिति रही तथा तनाव बना रहा। बैरिकेडिंग करके पुलिस ने रास्ता भी रोक दिया था। पुलिस ने रेवती रमण सिंह, उज्जवल रमण सिंह, पार्टी के वरिष्ठ नेता नरेंद्र सिंह समेत कई नेताओं को घर से निकलने नहीं दिया। इसके विरोध में सपा कार्यकर्ताओं ने अशोक नगर स्थित रेवती रमण के आवास के बाहर धरना दिया।
किसानों का जगह-जगह धरना, भूख हड़ताल
तीनों कृषि कानूनों के विरोध में किसानों ने जगह-जगह धरना दिया। साथ ही गिरफ तारी दी। पत्थर गिरजाघर स्थित धरना स्थल पर किसानों का एक समूह भूख हड़ताल पर बैठा रहा। किसानों ने ज्ञापन भी सौंपा। भारतीय किसान यूनियन टिकैत गुट की ओर से सोमवार को कलक्ट्रेट परिसर में धरना-प्रदर्शन की घोषणा की गई थी। इसी क्रम में उनका झलवा स्थित कार्यालय पर जमावड़ा हुआ लेकिन पुलिस ने उन्हें वहीं पर रोक दिया। इसके बाद किसान वहीं पर धरने पर बैठ गए। जिला उपाध्यक्ष संजय यादव की अगुवाई में जारी धरना में बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल रहीं। उन्होंने प्रधानमंत्री को संबोधित छह सूत्रीय मांग पत्र भी एडीएम सिटी को सौंपा।कृषि कानून वापस लिए जाने, गिरफ्तार नेताओं की रिहाई समेत अन्य मांगों को लेकर किसानों ने घूरपुर में भी धरना दिया। अखिल भ्भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति के बैनर तले आयोजित धरने में भी बड़ी संख्या में महिलाएं शामिल रहीं। गिरफ्तार नेताओं की रिहाई के बाद ही किसानों ने धरना समाप्त किया। मेजा, करछना आदि जगहों के किसान ट्रक में बैठकर कलक्ट्रेट की तरह बढ़ रहे थे लेकिन पुलिस ने उन्हें बालसन चौराहा पर ही रोक लिया। पुलिस की सख्ती के बाद किसान इधर-उधर हो गए। कृषि बिल के विरोध में कई अन्य स्थानों पर भी किसानों ने धरना दिया।