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लापरवाही : एक माह से वार्ड में मरीज परेशान, नहीं हो रहा ऑपरेशन
संवाद न्यूज एजेंसी, एटा
Updated Thu, 20 Nov 2025 11:33 PM IST
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मेडिकल कॉलेज के हड्डी रोग विभाग के वार्ड में भर्ती मरीज। संवाद
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एटा। मेडिकल कॉलेज के हड्डी विभाग में बड़ी लापरवाही बरती जा रही है। एक तरफ विभाग के वार्ड में मरीज एक माह से भर्ती हैं जिनका अभी तक ऑपरेशन नहीं हो पाया है। वहीं दूसरी जन औषधि केंद्र से इम्प्लांटस नहीं मिल पा रहे हैं जिसकी वजह से मरीज से लेकर चिकित्सक भी परेशान हैं।
इस विभाग में चिकित्सकों द्वारा रुपये मांगे जाने को लेकर अभी तक कोई जांच भी नहीं की गई। मेडिकल कॉलेज के हड्डी विभाग में टूटे हुए लोगों का ऑपरेशन कर इम्प्लांटस ऑपरेशन के माध्यम से डाले जाते हैं। अभी तक मेडिकल कॉलेज के चिकित्सक निजी वेंडर के माध्यम से इम्प्लांटस की आपूर्ति कराते थे। इसमें चिकित्सक मरीजों से दोगुना रुपये वसूलते थे।
इसकी मामले की शिकायत मरीजों ने मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. बलवीर सिंह से की। प्राचार्य ने निजी वेंडर से इम्प्लांटस लेने से मना कर दिया। जन औषधि केंद्र से इम्प्लांटस की आपूर्ति के लिए सभी विभागाध्यक्ष को निर्देश दिए गए हैं। 10 दिन बीतने के बाद भी जन औषधि केंद्र पर इम्प्लांटस उपलब्ध नहीं हो पाए हैं, जिसकी वजह से मरीज एक माह से वार्ड में भर्ती है।
रेफर हो रहे मरीज
मेडिकल कॉलेज के हड्डी विभाग वार्ड में एक सप्ताह से भर्ती अमांपुर निवासी धर्मेंद्र का हाथ टूट गया है। उन्होंने बताया कि एक सप्ताह से वार्ड में भर्ती है। हाथ में रॉड पड़नी थी। अभी तक रॉड उपलब्ध नहीं हुई है। बृहस्पतिवार को रेफर कर दिया गया है। उसके रेफर लेटर पर डॉ. विनोद कुमार ने इम्प्लांटस उपलब्ध नहीं होने का कारण दिखाते हुए रेफर कर दिया।
ऑपरेशन के नाम पर रुपये लेने के मामले में भी नहीं हुई कोई जांच
मेडिकल कॉलेज के हड्डी रोग विभाग में मरीजों से ऑपरेशन करने के नाम पर रुपये वसूले गए। इस मामले में प्राचार्य डॉ. बलवीर सिंह ने जांच कराने के आदेश जारी किए। एक माह बीतने के बाद भी अभी तक कोई जांच नहीं हुई। शिकायतकर्ता पर दबाव डालकर लिखवा लिया गया कि हमारी ओर से कोई शिकायत नहीं की गई। जबकि शिकायतकर्ता ने लिखित में शिकायत पत्र दिया था।
हड्डी रोग विभाग में मरीजों के अंग में पड़ने वाले इम्प्लांटस की खरीद अब जन औषधि केंद्र से की जाएगी। इसके लिए जन औषधि केंद्र को निर्देश दिए जाएंगे कि चिकित्सक से परामर्श कर इम्प्लांटस खरीदे जाएं। इससे मरीजों को सुविधा मिल सके। -डॉ. सुरेश चंद्रा, सीएमएस
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इस विभाग में चिकित्सकों द्वारा रुपये मांगे जाने को लेकर अभी तक कोई जांच भी नहीं की गई। मेडिकल कॉलेज के हड्डी विभाग में टूटे हुए लोगों का ऑपरेशन कर इम्प्लांटस ऑपरेशन के माध्यम से डाले जाते हैं। अभी तक मेडिकल कॉलेज के चिकित्सक निजी वेंडर के माध्यम से इम्प्लांटस की आपूर्ति कराते थे। इसमें चिकित्सक मरीजों से दोगुना रुपये वसूलते थे।
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इसकी मामले की शिकायत मरीजों ने मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ. बलवीर सिंह से की। प्राचार्य ने निजी वेंडर से इम्प्लांटस लेने से मना कर दिया। जन औषधि केंद्र से इम्प्लांटस की आपूर्ति के लिए सभी विभागाध्यक्ष को निर्देश दिए गए हैं। 10 दिन बीतने के बाद भी जन औषधि केंद्र पर इम्प्लांटस उपलब्ध नहीं हो पाए हैं, जिसकी वजह से मरीज एक माह से वार्ड में भर्ती है।
रेफर हो रहे मरीज
मेडिकल कॉलेज के हड्डी विभाग वार्ड में एक सप्ताह से भर्ती अमांपुर निवासी धर्मेंद्र का हाथ टूट गया है। उन्होंने बताया कि एक सप्ताह से वार्ड में भर्ती है। हाथ में रॉड पड़नी थी। अभी तक रॉड उपलब्ध नहीं हुई है। बृहस्पतिवार को रेफर कर दिया गया है। उसके रेफर लेटर पर डॉ. विनोद कुमार ने इम्प्लांटस उपलब्ध नहीं होने का कारण दिखाते हुए रेफर कर दिया।
ऑपरेशन के नाम पर रुपये लेने के मामले में भी नहीं हुई कोई जांच
मेडिकल कॉलेज के हड्डी रोग विभाग में मरीजों से ऑपरेशन करने के नाम पर रुपये वसूले गए। इस मामले में प्राचार्य डॉ. बलवीर सिंह ने जांच कराने के आदेश जारी किए। एक माह बीतने के बाद भी अभी तक कोई जांच नहीं हुई। शिकायतकर्ता पर दबाव डालकर लिखवा लिया गया कि हमारी ओर से कोई शिकायत नहीं की गई। जबकि शिकायतकर्ता ने लिखित में शिकायत पत्र दिया था।
हड्डी रोग विभाग में मरीजों के अंग में पड़ने वाले इम्प्लांटस की खरीद अब जन औषधि केंद्र से की जाएगी। इसके लिए जन औषधि केंद्र को निर्देश दिए जाएंगे कि चिकित्सक से परामर्श कर इम्प्लांटस खरीदे जाएं। इससे मरीजों को सुविधा मिल सके। -डॉ. सुरेश चंद्रा, सीएमएस

मेडिकल कॉलेज के हड्डी रोग विभाग के वार्ड में भर्ती मरीज। संवाद