सब्सक्राइब करें

Chhath Puja 2024 : महिलाओं ने पानी में खड़े होकर अस्ताचल सूर्य को दिया अर्घ्य, लगाया पकवानों का भोग

अमर उजाला नेटवर्क, प्रयागराज Published by: विनोद सिंह Updated Thu, 07 Nov 2024 05:44 PM IST
सार

भगवान सूर्य और छठ माता से परिवार के सुख और समृद्धि की कामना के साथ पुत्र के दीर्घायु की प्रार्थना की। भगवान को विभिन्न प्रकार के पकवानों और फलो का भोग लगाया गया। छठ पूजा में 36 घंटे का उपवास रखना पड़ता है। इसके अलावा छठ पूजा में कई कठिन नियमों का पालन करना पड़ता है। 

विज्ञापन
Chhath Puja 2024: Women stood in water and offered Arghya to the setting sun
अस्ताचल सूर्य को अर्घ्य देतीं व्रती महिलाएं। - फोटो : अमर उजाला।

भगवान भास्कर की आराधना के महापर्व छठ पूजा के दूसरे तीसरे दिन व्रती महिलाओं ने गंगा और यमुना के घाटों पर पानी में खड़े होकर अस्ताचल सूर्य को अर्घ्य दिया। भगवान सूर्य और छठ माता से परिवार के सुख और समृद्धि की कामना के साथ पुत्र के दीर्घायु की प्रार्थना की। भगवान को विभिन्न प्रकार के पकवानों और फलो का भोग लगाया गया। छठ पूजा में 36 घंटे का उपवास रखना पड़ता है। इसके अलावा छठ पूजा में कई कठिन नियमों का पालन करना पड़ता है।

Trending Videos
Chhath Puja 2024: Women stood in water and offered Arghya to the setting sun
अस्ताचल सूर्य को अर्घ्य देतीं व्रती महिलाएं। - फोटो : अमर उजाला।

 डूबते सूर्य को अर्घ्य देने का है विशेष महात्म्य

छठ पूजा में अस्ताचल यानी डूबते सूर्य को अर्घ्य देने का विशेष महात्म्य है। इसके पीछे कई आध्यात्मिक पक्ष हैं। मान्यताओं के अनुसार अस्त होते समय भगवान सूर्य देव अपनी पत्नी प्रत्यूषा के साथ होते हैं। इस समय भगवान सूर्य को अर्घ्य देने से जीवन में आ रही सभी परेशानियां दूर हो जाती हैं। डूबते सूर्य को अर्घ्य देने से व्रती महिलाओं सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। ढलता सूर्य हमें बताता है कि हमें कभी भी हार नहीं मानना चाहिए, क्योंकि रात होने के बाद एक उम्मीद भरी सुबह भी जरूर आती है। डूबते सूर्य को अर्घ्य देने से जीवन में सकारात्मक ऊर्जा और शक्ति का संचार होता है। इतना ही नहीं व्यक्ति को सफल जीवन का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है। 

विज्ञापन
विज्ञापन
Chhath Puja 2024: Women stood in water and offered Arghya to the setting sun
अस्ताचल सूर्य को अर्घ्य देने के बाद सेल्फी लेतीं महिलाएं। - फोटो : अमर उजाला।

छठ पूजा का है विशेष महत्व

छठ पूजा भगवान सूर्य और प्रकृति को समर्पित पर्व माना जाता है। छठ पूजा सामग्री में भी फल, सब्जियां और अन्य प्राकृतिक चीजें शामिल की जाती हैं। सूर्य देव के साथ छठी मैया की भी पूजा की जाती है। कहते हैं सूर्य देव की उपासना करने से सुख, समृद्धि, निरोगी शरीर की प्राप्ति होती है। वहीं छठी मैया की पूजा करने से संतान दीर्घायु होते हैं और उनके जीवन पर आया सभी संकट दूर हो जाता है।

Chhath Puja 2024: Women stood in water and offered Arghya to the setting sun
डाला छठ पर पूजन करतीं महिलाएं। - फोटो : अमर उजाला।
संगम तट पर उमड़ा आस्था का सैलाब

चार दिनी छठ महापर्व के तीसरे दिन सुबह से ही गंगा, यमुना के विभिन्न घाटों पर तैयारियां चलती रहीं। साफ-सफाई और सजावट के साथ ही श्रद्धालुओं के लिए घाटों पर पंडाल सहित विशेष इंतजाम किए गए हैं। खास ताैर पर संगम तट और बलुआ घाट, गऊ घाट, दरस्सी घाट, किला घाट, नागवासुकी मंदिर घाट, आड़ा घाट सहित अन्य स्थलों पर छठी मईया के पूजन की व्यवस्था की गई है।
विज्ञापन
Chhath Puja 2024: Women stood in water and offered Arghya to the setting sun
संगम तट पर डाला छठ के पूजन के मौके पर तैयारी की गई रंगोली। - फोटो : अमर उजाला।
घाटों पर दोपहर दो बजे के बाद ही अस्ताचल सूर्य को अर्घ्य देने के लिए श्रद्धालुओं का तांता लग गया। दूरदराज से लाखों की संख्या में छठ पूजा के लिए पहुंचे श्रद्धालुओं ने गंगा और यमुना के तट पर घंटों खड़े होकर सूर्य देव की आराधना की। साथ ही डूबते सूर्य को अर्घ्य देने के बाद वापस लाैटे, जबकि बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने संगम और बलुआ घाटों पर डेरा डाले रखा।
विज्ञापन
अगली फोटो गैलरी देखें

रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|
Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

विज्ञापन
विज्ञापन

एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें

Next Article

Election
एप में पढ़ें

Followed