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VIDEO: अस्पताल की फार्मेसी में नहीं मिली दवा, खरीदनी पडेगी बाहर, जिला अस्पताल में नहीं सुधर रहीं स्वास्थ्य सेवाएं
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VIDEO: अस्पताल की फार्मेसी में नहीं मिली दवा, खरीदनी पडेगी बाहर, जिला अस्पताल में नहीं सुधर रहीं स्वास्थ्य सेवाएं
गौरीगंज स्थित संयुक्त जिला अस्पताल में स्वास्थ्य सुविधाएं नहीं सुधर रही हैं। फार्मेसी में चिकित्सकों की ओर से लिखी गई दवाएं नहीं मिल पा रही हैं। जबकि चीफ फार्मासिस्ट पर्याप्त दवा होने का दावा कर रहे हैं, फिर भी मरीजों को बाहर मेडिकल स्टोरों से दवा खरीदनी पड़ रही है। मंगलवार को ओपीडी, दवा, पंजीकरण काउंटर पर मरीजों की लंबी कतारें लगी दिखीं।
मंगलवार को भी जिला अस्पताल के दवा काउंटर पर प्रशिक्षु छात्र मरीजों को दवा वितरित कर रहे थे। दवा वितरण कक्ष के बाहर चीफ फार्मासिस्ट अपनी कुर्सी पर बैठे दिखे। बुखार से पीड़ित मरीज प्रेम कुमार ने बताया कि उन्हें कई दिनों से बुखार आ रहा है। चिकित्सक ने परचे पर दवा लिखी।
दवा काउंटर पर लाइन लगाने के बाद तीन दवाएं मिली और दो दवाएं नहीं मिली। वहीं मरीज वंशराज ने बताया कि चिकित्सक ने पांच दवाएं परचे पर लिखी हैं। दवा काउंटर पर दवा नहीं मिली, जन औषधि केंद्र पर दवा लेने जा रहा हूं। मरीज शिव बहादुर ने बताया कि पेट दर्द व लीवर की समस्या है। यहां निशुल्क इलाज कहने को है। एक घंटे से अधिक परचा बनवाने में और डेढ़ घंटे चिकित्सक को दिखाने में लगा।
चिकित्सक ने परचे पर छह दवाएं लिखी है। दवा काउंटर पर मात्र दो दवाएं मिली और अन्य दवाएं यहां पर नहीं मिली। दवा बांट रहे बच्चों ने कहा कि यह दवाएं यहां नहीं मिल पाएंगी। तीमारदार वीरेंद्र मिश्र ने बताया कि उनकी पत्नी ज्योति की तबियत खराब है। ओपीडी में चिकित्सक को दिखाया तो चिकित्सक ने परचे पर पांच दवाएं लिखी हैं। दवा काउंटर पर लाइन लगाया, यहां दवा बांट रहे प्रशिक्षु छात्रों ने बताया कि दवा यहां नहीं है। पीड़ित ने बताया कि दवाएं बाहर मेडिकल स्टोर से खरीदनी पड़ेंगी। यह बात अन्य मरीजों ने भी कही।
265 प्रकार की दवाएं हैं उपलब्ध
फार्मेसी के चीफ फार्मासिस्ट महेंद्र पाल ने बताया कि 270 प्रकार की दवाएं आती हैं। उन्होंने 265 प्रकार की दवाएं उपलब्ध होने का दावा किया। आंख का एक ड्राफ नहीं है। हालांकि दवाओं का नाम बताने में उन्होंने आनाकानी की।
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